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  • जबलपुर में संदिग्धों से पटरियों की सुरक्षा करने इटारसी से मानिकपुर तक लगेगी फेंसिंग

    जबलपुर रेल मंडल से गुजरने वाली रेलवे ट्रैक के दोनों ओर करीब एक हजार किमी लंबी फेंसिंग लगाने की तैयारी

    HighLights

    करीबन 500 किमी लंबे रेलवे ट्रैक की सुरक्षा। ट्रेनों की गति बढ़ाने, पशुओं को रोकने में मदद। जबलपुर रेल मंडल के प्रस्ताव पर स्वीकृति मिली।

    अतुल शुक्ला, नईदुनिया, जबलपुर (Jabalpur News)। पश्चिम मध्य रेलवे के जबलपुर, भोपाल और कोटा रेल मंडल की सीमा में आने वाले करीब 300 रेलवे स्टेशन और तीन हजार किमी लंबे (अप-डाउन) रेलवे ट्रैक की सुरक्षा के लिए फेंसिंग लगाने का काम जल्द शुरू होगा।

    करीबन 500 किमी लंबे रेलवे ट्रैक की सुरक्षा

    अकेले जबलपुर रेलवे मंडल के करीबन 500 किमी लंबे रेलवे ट्रैक की सुरक्षा के लिए दीवार की बजाए फेंसिंग लगाई जाएगी। अप-डाउन मिलाकर करीब एक हजार किमी लंबी फेंसिंग लगाई जानी है, जिसके लिए जबलपुर रेल मंडल के इंजीनियरिंग विभाग ने काम शुरू कर दिया है। फिलहाल, ट्रैक के दोनों ओर रेलवे की जमीन काे चिंहित किया जा रहा है।

    प्रस्ताव पर स्वीकृति, अब होगा काम

    जबलपुर रेल मंडल के इटारसी से लेकर मानिकपुर, कटनी से लेकर बीना, कटनी से लेकर सिंगरौली और सतना से रीवा के बीच करीब 500 किमी का रेलवे ट्रैक है। इसमें ही करीब 100 से ज्यादा रेलवे स्टेशन भी आते हैं।

    रेलवे ट्रैक के दोनों ओर फेंसिंग लगाएगा

    रेलवे पहले चरण में रेलवे स्टेशन के दोनों छोर पर दीवार बनाएगा, ताकि संदिग्ध लोगों को स्टेशन परिसर में आने से रोका जा सके। इसके बाद एक स्टेशन से दूसरे स्टेशन तक जाने वाले रेलवे ट्रैक के दोनों ओर फेंसिंग लगाएगा।

    रेलवे की जमीन का किया जा रहा चिन्हांकन

    इस प्रस्ताव पर पहले ही हरी झंडी मिल चुकी है। इस बार रेलवे ने बजट में दिया है। इंजीनियरिंग विभाग ने रेलवे ट्रैक के दोनों ओर जहां से फेंसिंग लगाने का काम शुरू होना है। वहां रेलवे की जमीन का चिन्हांकन किया जा रहा है।

    ट्रेनों की गति बढ़ाने, पशुओं को रोकने में मदद

    फेंसिंग लगने से न सिर्फ पटरियों की सुरक्षा होगी, बल्कि ट्रेनों की गति बढ़ाने में मदद मिलगी तो वहीं पशुओं को रेलवे ट्रैक पर आने से रोका जाएगा।

    130 किमी प्रति घंटे करने जा रहा ट्रैक की गति

    जबलपुर रेल मंडल, रेलवे ट्रैक की गति 110 किमी प्रति घंटे से बढ़ाकर 130 किमी प्रति घंटे करने जा रहा है। यह स्पीड 160 किमी तक होगी। इसके लिए सबसे जरूरी है कि ट्रैक के दोनों ओर फेंसिंग लगाना।

    अन्य जानवर आने से इंजन को नुकसान

    ट्रैक पर गाय-भैंस के साथ अन्य जानवर आने से इंजन को नुकसान पहुंच रहा है। कई बाद ट्रैक पर जानवर आने और इंजन से टकराने के मामले सामने आए हैं, जिसमें इंजन को बुरी तरह से नुकसान पहुंचा है। ऐसे में ट्रैक के दोनों ओर फेंसिंग लगाने का काम किया जाना है।

    संदिग्ध वस्तु रखने के मामले बढ़े

    कछपुरा में रेलवे ट्रैक पर लोहे की सरिया रखने का मामला सामने आया है। जबलपुर स्टेशन के इटारसी आउटर पर भी ट्रैक पर संदिग्ध वस्तु रखीं मिली। इटारसी और बीना के पास भी कई बाद ट्रैक पर कई संदिग्ध वस्तु रखी मिली।

  • हर दिन मिल रहे एंजायटी, डिप्रेशन के 12 नए पीड़ित … काम का दबाव और तनाव बना रहा मनोरोगी

    कई बार मानसिक स्वास्थ्य के प्रभावित होने का संकेत करते हैं।

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    विश्व मानसिक स्वास्थ्य दिवस पर तनाव-नींद के निरंतर बढ़ रहे हैं रोगी।प्रत्येक आयु वर्ग के मरीजों में मनोरोग के अलग-अलग लक्षण मिल रहे हैं। नेताजी सुभाषचंद्र बोस मेडिकल कालेज में ओपीडी में आने मरीजों में वृद्धि।

    दीपंकर राय, नईदुनिया, जबलपुर (Health News)। जीवन में बढ़ते तनाव, कामकाज के दबाव और कई अन्य कारण से लोगों के मानसिक स्वास्थ्य विपरीत प्रभाव पड़ रहा है। नेताजी सुभाषचंद्र बोस मेडिकल कालेज के मानसिक रोग विभाग की ओपीडी में निरंतर बढ़ रहे हैं।

    जांच में हर दिन लगभग 12 लोग एंजायटी एवं डिप्रेशन के पीड़ित मिल रहे हैं। इसमें महिला-पुरुष दोनों सम्मिलित है। प्रत्येक आयु वर्ग के मरीजों में मनोरोग के अलग-अलग लक्षण मिल रहे हैं।

    मेडिकल कालेज के मनोरोग विभाग में….

    100-150 मरीज प्रतिदिन ओपीडी में आ रहे है। 50 प्रतिशत मरीज इसमें एंजायटी व डिप्रेशन के। 12-15 नए मरीज, प्रतिदिन दोनों समस्या के मिल रहे। एक से दो मरीज, इसमें कार्यस्थल के तनाव के।

    अधिकारी से लेकर गृहिणी तक

    मेडिकल कालेज में जांच के लिए आ रहे एंजायटी और डिप्रेशन पीड़ितों में अधिकारी से लेकर गृहिणी तक है। एक अधिकारी को 20 दिन में कंपनी ने लक्ष्य पूरा करने का निर्देश दिया। इससे तनाव में आ गए। नींद नहीं आती थी। स्वास्थ्य खराब हो गया। काउंसिलिंग और दवा से स्वस्थ्य हुए।

    10-12 घंटे तक काम का दबाव

    निजी बैंक में काम करने वाली एक युवती की मानसिक स्वास्थ्य 10-12 घंटे तक काम के दबाव से प्रभावित होने लगा। वह उपचार करा रही है। 58 वर्षीय एक गृहिणी घर में प्रतिदिन एक जैसे काम से उकता गई। उदास और निराश रहने लगी तो जांच कराई।

    एक प्रकार के मनोरोग से पीड़ित मिली। एक पीजी डाक्टर ने काम के भार के कारण मन शांत नहीं रख पाने की शिकायत लेकर पहुंची।

    मिले-जुले लक्षण, समझ नहीं पाते

    बेचैनी, चिड़चिड़ापन, ध्यान केंद्रित करने में समस्या, अधिक चिंता, निराशा, नकारात्मक भावना, यह एंजायटी एवं डिप्रेशन के लक्षण हैं।

    शरीर पर पड़ने वाले कई प्रभाव भी मनारोग के कारण होते हैं। जैसे कि सिरदर्द, घबराहट, पेट संबंधी समस्या, मांसपेशियों में तनाव व खिंचाव की समस्या भी मानसिक रोग भी कई बार मानसिक स्वास्थ्य के प्रभावित होने का संकेत करते हैं।

    अधिकतर लोग मेडिसिन, न्यूरो एवं अन्य विशेषज्ञों के पास जाकर उपचार कराते है। यदि समय रहते लक्षण को लोग समझ लें और झिझक दूर कर जांच कराएं तो भविष्य में स्वास्‍थ्य के गंभीर खतरें से बचा जा सकता है।

    स्वास्‍थ्य के गंभीर खतरें से बचा जा सकता

    ओपीडी में प्रतिदिन एंजायटी, डिप्रेशन के नए मरीज आ रहे है। कार्यस्थल के दबाव और तनाव से पीड़ित मरीज भी है। काउंसिलिंग, परामर्श व आवश्यक होने पर उचित दवा दे रहे। मानसिक स्वास्थ्य को गंभीर नुकसान से बचा जा सकता है। मनोरोग में भी लोगों को मांसपेशियों में खिंचाव, तनाव होता है। सर्विकल समस्या समझते हैं। ब्लड प्रेशन बढ़ने को लेकर है। भारीपन, कार्यस्थल में नींद आना जैसे लक्षण पर जांच कराएं।

    कई बार एंजायटी, डिप्रेशन में ऐसा होता है। योग, व्यायाम, कार्य से अवकाश से भी मानसिक स्वास्थ्य को बेहतर करने में सहायता मिलती है।

    – डा. ओपी रायचंदानी, प्रमुख, मनोरोग विभाग, नेताजी सुभाषचंद्र बोस मेडिकल कालेज

  • युवती का अश्लील वीडियो किया वायरल… पाटन के विक्रम सिंह को नगालैंड पुलिस ने जबलपुर से किया गिरफ्तार

    पाटन पुलिस स्‍टेशन में नगालैंड पुलिस के साथ बैठा विक्रम सिंह (लाल घेरे में)।

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    नगालैंड से तीन सदस्यीय दल पाटन थाने पहुंचा था। युवती को अश्लील वीडियो भेजने के मामले में दबोचा। आइटीआई कर रहे विक्रम ने चार माह पहले की दोस्‍ती।

    नईदुनिया,जबलपुर (Jabalpur News)। नगालैंड की एक युवती को अश्लील वीडियो भेजने के मामले में नगालैंड पुलिस ने जबलपुर के युवक को गिरफ्तार किया है। नगालैंड से तीन सदस्यीय दल पाटन थाने पहुंचा जहां स्थानीय पुलिस की मदद से पाटन निवासी 24 साल के विक्रम सिंह की गिरफ्तारी की गई।

    वीडियो काल करके नग्न फोटो युवती ने भेजे थे

    युवती का आरोप है कि विक्रम जबलपुर से आइटीआई कर रहा है। चार माह पहले विक्रम और युवमी दोनों आनलाइन संपर्क में आए थे। दोनों की दोस्ती हो गई। वीडियो काल के जरिए बातचीत होने लगी। इसी दौरान कुछ नग्न फोटो युवती ने युवक को भेजे थे। इस वीडियो को युवक ने अपने मित्रों को मोबाइल पर भेज दिया।

    साइबर पुलिस को शिकायत दर्ज करवाया

    यह वीडियो इंटरनेट मीडिया में बहुप्रसारित हो गया। युवती को जब उसके वीडियो वायरल होने की जानकारी लगी तो उसने नगालैंड स्टेट साइबर पुलिस को शिकायत दर्ज करवाते हुए पूरी कहानी बताई। युवती के बयान दर्ज करने के बाद नगालैंड पुलिस ने पाटन निवासी विक्रम सिंह की चैटिंग निकाली और फिर सेक्शुअल हैरेसमेंट सहित आईटी एक्ट की धाराओं के तहत मामला दर्ज किया।

    नागालैंड ले गई पुलिस

    आरोपित युवक को पुलिस अपने साथ नगालैंड ले जाएगी। जहां उससे इस मामले में पूछताछ की जाएगी। नगालैंड पुलिस में पदस्थ डीएसपी लाइका एम अचूमी ने बताया कि नगालैंड की एक युवती की शिकायत पर विक्रम सिंह के खिलाफ एफआईआर दर्ज की गई है।

  • आयुष कालेजों में प्रवेश के लिए आज से होंगे पंजीयन, नीट यूजी काउंसिलिंग-2024 का कार्यक्रम जारी

    संबंधित छात्र को उपस्थित होकर प्रवेश की प्रक्रिया पूर्ण करना होगा।

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    20 से 25 सितंबर तक अभिलेख सत्यापन की प्रक्रिया होगी। छात्र-छात्राओं के अर्हता संबंधी अभिलेख का सत्यापन अनिवार्य। मध्यप्रदेश आयुर्विज्ञान विश्वि से संबद्ध है जबलपुर के छह कालेज।

    नईदुनिया, जबलपुर(Jabalpur News)। प्रदेश आयुष (आयुर्वेद, होम्योपैथी, यूनानी, प्राकृतिक चिकित्सा व योग विज्ञान) महाविद्यालयों में प्रवेश के लिए आनलाइन पंजीयन की प्रक्रिया 19 सितंबर से आरंभ होगी। आनलाइन पंजीयन के बाद निर्धारित समय पर निकट के सरकारी आयुष कालेज में छात्र-छात्राओं को अर्हता संबंधी अभिलेख का सत्यापन कराना अनिवार्य है। 20 से 25 सितंबर तक अभिलेख सत्यापन की प्रक्रिया होगी।

    पहले चरण में 24 सितंबर तक पंजीयन

    मध्य प्रदेश आयुष संचालनालय की नीट स्नातक काउंसिलिंग-2024 के पहले चरण में 24 सितंबर तक पंजीयन होंगे। आनलाइन आवेदन पत्र ें संशोधन भी इसी अवधी में होगा। नीट परीक्षा के प्राप्ताकों के आधार पर छात्र-छात्राओं को आयुष (आयुर्वेद, होम्योपैथी, यूनानी, प्राकृतिक चिकित्सा व योग विज्ञान) महाविद्यालय में प्रवेश की पात्रता होगी।

    नगर में छह आयुष कालेज

    नगर में छह आयुष कालेज संचालित हैं। यह समस्त महाविद्यालय मध्यप्रदेश आयुर्विज्ञान विश्वविद्यालय से संबद्ध है। इसमें दो होम्योपैथिक एवं चार आयुर्वेद महाविद्यालय है। एकमात्र ग्वारीघाट स्थित आयुर्वेद कालेज सरकारी संस्थान है। अन्य समस्त निजी महाविद्यालय है। सरकारी और निजी, दोनों महाविद्यालय में स्नातक पाठ्यक्रम में प्रवेश काउंसिलिंग के माध्यम से होंगे। इन कालेजों में बीएएमएस की दो सौ और बीएएमएस की लगभग चार सौ सीटें है।

    चार अक्टूबर को सीट आवंटन

    प्रदेश के आयुष कालेजों में बीएएमएस, बीएचएमएस, बीयूएमएस, बीएनवाइएस में प्रवेश होंगे। स्नातक पाठ्यक्रम की रिक्त सीटों का विवरण 23 सितंबर को जारी होगा। 26 सितंबर को पंजीकृत पात्र छात्रों की प्रावीण्य सूची आएगी। 27 से 30 सितंबर तक च्वाइस फिलिंग होगा। आनलाइन सीट आवंटन पत्र चार अक्टूबर का जारी किया जाएगा। इसके बाद आठ तक आवंटित सीट पर संबंधित छात्र को उपस्थित होकर प्रवेश की प्रक्रिया पूर्ण करना होगा।

  • जबलपुर में रेलवे ट्रैक पर दौड़ी जेसीबी और प्लेटफार्म पर ट्रैक्टर, यात्री रह गए हैरान

    मुख्य रेलवे स्टेशन के प्लेटफार्म नंबर दो के रेल ट्रैक पर जेसीबी मशीन व प्लेटफार्म पर खड़ा टैक्टर (फोटो : नईदुनिया)

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    जबलपुर स्टेशन के प्लेटफार्म दो पर वाशेबल एप्रन का काम शुरू।रेलवे ठेकेदार की लापरवाही, प्लेटफार्म पर ट्रैक्टर देख घबराए यात्री। प्लेटफार्म दो व तीन पर ट्रेनों की आवाजाही जारी रही, हादसा टला।

    नईदुनिया, जबलपुर (Jabalpur News)। मुख्य रेलवे स्टेशन के प्लेटफार्म दो पर मंगलवार की रात लगभग सात बजे ट्रैक्टर चलता देख यात्री हैरान रह गए। उन्हें समझ नहीं आ रहा था कि जिस प्लेटफार्म पर कल तक यात्री और ट्रेन खड़ी हुआ करती थी, वहां आज टैक्टर दौड़ रहा था।

    इसी बीच पटरियों पर ट्रेन की बजाए जेसीबी चल रही थी। हालांकि जेसीबी पटरियों को उखाड़ रही थी, लेकिन ट्रैक्टर प्लेटफार्म पर क्यों आया, यह समझ से परे रहा। इसी दौरान प्लेटफार्म दो से लगे तीन पर ट्रेनों की आवाजाही जारी रही, जिसमें सवाल होने से लिए सैकड़ों यात्री प्लेटफार्म पर खड़े थे।

    स्टेशन प्रबंधन से जुड़ा कोई अधिकारी, कर्मचारी मौके पर नहीं था

    जबलपुर रेल मंडल के इंजीनियरिंग विभाग द्वारा वाशेबल एप्रन बनाने का काम किया जा रहा है, लेकिन विभाग ने जिस ठेकेदार को इसका काम दिया है, उसने ट्रैक की बजाए प्लेटफार्म पर ट्रैक्टर दौड़ा दिया।

    यह बात न तो यात्रियों को समझ आई और न ही रेलवे के अधिकारियों को। हालांकि प्लेटफार्म पर ट्रैक्टर चलता देख इसे रोकने के लिए स्टेशन प्रबंधन से जुड़ा कोई अधिकारी, कर्मचारी मौके पर नहीं था।

    यात्रियों की सुरक्षा से खिलवाड़

    जबलपुर मंडल ने त्यौहार सीजन पर यात्रियों की परेशानी को समझने की बजाए दो दर्जन से ज्यादा ट्रेनों का रद कर बढ़ा दिया है, जिससे हजारों यात्रियों का गंतव्य तक पहुंचने का सफर मुश्किल में पड़ गया है। यहां डेली अपडाउन करने वाले लोग भी रेलवे के इस निर्णय से पूरी तरह से प्रभावित हुए हैं। वे भी अब निजी वाहन या सड़क के रास्ते ड्यूटी जाएंगे।

    प्लेटफार्म पर टैक्टर और ट्रैक पर जेसीबी ने मुश्किलें बढ़ा दीं

    प्लेटफार्म दो पर वाशेबल एप्रन का काम शुरू हो गया। भीड़-भाड़ से भरे प्लेटफार्म पर टैक्टर और ट्रैक पर जेसीबी ने यात्रियों की मुश्किलें बढ़ा दी। रात के वक्त भारी वाहनों की प्लेटफार्म पर आवाजाही जारी थी। रेलवे के ठेकेदार ने लापरवाही करते हुए ट्रैक्टर को प्लेटफार्म पर चला दिया। इस दौरान यात्रियों को प्लेटफार्म पर आने-जाने में परेशानी हुई।

    यात्रियों में बढ़ी रेलवे से नाराजगी

    त्यौहार सीजन पर प्लेटफार्म दो बंद करने का यात्रियों ने विरोध किया।जबलपुर से ट्रेन में सतना जा रहे यात्री विजय पटेल ने बताया कि जबलपुर रेल मंडल को त्यौहार के सीजन में ही काम याद आता है। विनोद जायसवाल ने कहा कि रेलवे के इंजीनियरिंग विभाग को पैसा कराने के लिए इससे अच्छा कोई और दूसरा अवसर नहीं मिला।

    जबकि प्लेटफार्म के ट्रैक पर बने वाशेबल एप्रन की गुणवत्ता खराब नहीं थी, फिर भी उसे उखाड़कर करोड़ों खर्च करने के लिए भीड़-भाड़ में काम शुरू कर दिया। इस दौरान कोई दुर्घटना होगी तो इसका जिम्मेदारी कौन होगा।

    मुख्य रेलवे स्टेशन के हालात

    ट्रेनें रद होने से यात्री लंबी कतार लगाकर खड़े हैं, लेकिन सही जानकारी नहीं मिल रही। यात्रियों का ट्रेन में आरक्षण रद हो गया है, जनरल टिकट लेकर ही यात्रा कर रहे हैं। प्लेटफार्म पर आने-जाने वाले यात्रियों की न जांच हो रही है और न ही पूछताछ। छोड़ने वालों से पूछताछ तक नहीं पूछी जा रही, संदिग्ध लगेज भी अंदर आ रहा। प्लेटफार्म पर वैध और अवैध वेंडर, दोनों घूम रहे हैं, कोई रोकटोक नहीं हो रही।

  • कला व संगीत पाठ्यक्रमों में प्रवेश का आज अंतिम दिन, एमए का वायवा 12 सितंबर को

    संबद्ध संस्थानों को स्पष्ट किया है कि बी डिजाइन पाठ्यक्रम में प्रवेश के लिए 12 वीं उत्तीर्ण विद्यार्थी पात्र होंगे। समतुल्य अन्य कोई प्रमाण पत्र मान्य नहीं होगा।

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    छात्र-छात्राओं की 13 सितंबर से नामांकन प्रक्रिया आरंभ की जाएगी। प्रवेश के लिए आनलाइन पंजीयन लिंक सोमवार तक खुली रहेगी। पालीटेक्निक कालेज में आज से सीएलसी राउंड, लेवल काउंसलिंग कल से।

    नईदुनिया, जबलपुर(Jabalpur News)। शासकीय ललित कला संस्थान सहित अंचल में लगभग 30 महाविद्यालय, राजा मानसिंह तोमर संगीत एवं कला विश्वविद्यालय से संबद्ध संस्थानों में संगीत, नृत्य, ललित कला, रंगमंच, फैशन संबंधी पढ़ाई होती है। अभी सत्र 2024-25 में स्कूल स्तर से लेकर स्नातक एवं स्नातकोत्तर पाठ्यक्रमों में प्रवेश के लिए प्रक्रिया संचालित है। प्रवेश के लिए आनलाइन पंजीयन लिंक सोमवार तक खुली रहेगी। पंजीयन प्रक्रिया एमपी आनलाइन के माध्यम से होगी। जिले में लगभग 10 कला महाविद्यालय है।

    13 सितंबर से नामांकन

    विश्वविद्यालय ने सत्र 2022-23 अंतिम वर्ष के लंबित परीक्षाफल पर, संबंधित विद्यार्थी अस्थाई प्रवेश की अनुमति दी है। ऐसे छात्र-छात्राओं को सत्र 2023-24 में उच्चतर पाठ्यक्रम में प्रवेश के लिए नौ सितंबर तक आनलाइन पंजीयन करना अनिवार्य है। उत्तीर्ण घोषित होने पर उनका उच्चतर पाठ्यक्रम में प्रवेश नियमित कर दिया जाएगा। प्रवेश पंजीयन तिथि में वृद्धि नहीं होगी। प्रवेशित छात्र-छात्राओं की 13 सितंबर से नामांकन प्रक्रिया आरंभ की जाएगी।

    एमए का वायवा 12 सितंबर को

    विश्वविद्यालय सत्र 2023-24 में एमए नियमित पाठ्यक्रम के लिए चयनित छात्र-छात्राओं का वायवा (प्रायोगिक परीक्षा) 12 सितंबर को आयोजित करेगा। पात्र विद्यार्थियों को सुबह 10:30 बजे विश्वविद्यालय में उपस्थित होने के निर्देश दिए है। संबद्ध संस्थानों को स्पष्ट किया है कि बी डिजाइन पाठ्यक्रम में प्रवेश के लिए 12 वीं उत्तीर्ण विद्यार्थी पात्र होंगे। समतुल्य अन्य कोई प्रमाण पत्र मान्य नहीं होगा।

    पालीटेक्निक कालेज में आज से सीएलसी रांउड

    कलानिकेतन पालीटेक्निक महाविद्यालय में इंजीनियिरिंग के विभिन्न पाठयक्रमो में प्रवेश के लिए लेवल काउंसलिंग की प्रक्रिया 9 सितंबर से शुरू की जा रही है। सीएलसी रांउड में छात्र छात्राएं कॉलेज में सीधे उपिस्थत होकर प्रवेश ले सकेंगे। प्राचार्य डा.आरसी पांडे ने कहा कि सीएलसी चरण के तहत सिविल इंजीनियरिंग मैकेनिकल इंजीनियरिंग, इलेक्ट्रिकल इंजीनियरिंग, कंप्यूटर साइंस एंड इंजीनियरिंग, आई टी, इलेक्ट्रानिक्स , आटोमोबाइल इंजीनियरिंग, प्रिंटिंग टेक्नोलॉजी ब्रांचों में रिक्त सीटों के लिए प्रवेश प्रक्रिया आयोजित की जा रही है। 10 सितंबर से प्रक्रिया 15 सितंबर तक चलेगी। विद्यार्थी सीएलसी चरण में शामिल होने के लिए रजिस्ट्रेशन करा सकता है। इसी तरह महिला पॉलीटेक्निक कॉलेज में भी सेामवार से सीएलसी प्रक्रिया की शुरु होगी।

    पालीटेक्निक कालेज में लेवल काउंसलिंग कल से

    कला निकेतन पालीटेक्निक महाविद्यालय में कालेज लेवल काउंसलिंग के अंतर्गत रिक्त सीटों में प्रवेश की प्रक्रिया 10 सितंबर से शुरू होगी। सीएलसी राउंड में सिविल मैकेनिकल, इलेक्ट्रीकल, कंप्यूटर साइंस, आइटी, इलेक्ट्रोनिक्स, आटोमोबाइल्स, प्रिंटिंग टेक्नोलाजी इंजीनियरिंग जैसी ब्रांचेस में रिक्त सीटों पर प्रवेश मिलेगा। प्रक्रिया 15 सितंबर तक चलेगी जो भी विद्यार्थी प्रवेश लेना चाहते हैं वह आनलाइन सीएलसी रजिस्ट्रेशन कराकर 10 सितंबर को सुबह 10:30 बजे कालेज में उपस्थित हो सकते हैं।

  • Sihora MP: सिहोरा को जिला बनाने के लिए आंदोलन की तैयारी, तय होगी रणनीति

    लक्ष्य जिला सिहोरा आंदोलन समिति द्वारा पिछले दिनों निकाली गई रैली। फाइल फोटो

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    लोगों ने कहा-सभी सुविधाएं मौजूद। फिर क्यों सरकार कर रही परहेज।सिहोरा को जिला जल्द घोषित करें।

    नईदुनिया प्रतिनिधि, सिहोरा(Sihora MP)। एक अक्टूबर 2003 को सिहोरा में कलेक्टर एसपी की पदस्थापना प्रस्तावित की गई थी, लेकिन राजनीतिक अड़ंगे के कारण ऐसा नहीं हो सका। हाल ही में प्रदेश में कई छोटे जिले बनने के बाद से सिहोरा को भी जिला बनाए जाने की मांग लगातार जोर पकड़ रही है।

    नईदुनिया द्वारा लगातार जनभावनाओं को प्रकाशित किए जाने से लोगों में नया जोश आ गया है और यह मुहिम अब जन आंदोलन बनने लगी है। आम लोगों का कहना है कि भाजपा सरकार सिहोरा को जिला का दर्जा देने में घोर उपेक्षा कर रही है, बावजूद इसके प्रस्तावित सिहोरा जिला की चारों विधानसभा मझौली, बहोरीबंद, ढीमरखेड़ा और सिहोरा में भाजपा के प्रत्याशियों को जनता ने जीत की ओर अग्रेशित किया।

    Sihora Jila: आंदोलन की तैयारी में स्वयं सेवी संस्थाएं

    बहोरीबंद, मझौली और ढीमरखेड़ा में एक-एक बार विपक्षी पार्टी के प्रत्याशियों की जीत जरूर हुई लेकिन वे भी सिहोरा को प्रस्तावित जिला मुख्यालय का दर्जा दिला पाने में नाकाम रहे। सिहोरा में पांचवीं बार भाजपा प्रत्याशी की 43 हजार के भारी मतों से जीत हुई जिसके बाद से ही विधायक संतोष बरकड़े की ओर आशा की नजर से लोग देख रहे हैं। दूसरी तरफ पंचायत स्तर पर जनप्रतिनिधि जिले का प्रस्ताव पारित कर मुख्यमंत्री को भेज रहे हैं, तो स्वयं सेवी संस्थाएं भी अब आंदोलन की मूड में नजर आ रही हैं।

    विधायक संतोष बरकड़े ने नईदुनिया को बताया कि सिहोरा को जिला का दर्जा दिलाने के लिए मेरे द्वारा एक ठोस कार्य योजना बनाई गई है जिसकी जानकारी लक्ष्य सिहोरा जिला समिति पदाधिकारी को है। कार्य योजना का जल्द खुलासा मेरे द्वारा शीघ्र किया जाएगा।

    Sihora News: सिहोरा को जिला बनावाने के लिए बैठक

    प्रदेश में बनते जिले और सिहोरा की लगातार उपेक्षा से नाराज सिहोरा वासी आज रविवार को एकजुट होकर संघर्ष की रणनीति तैयार करेंगे। लक्ष्य जिला सिहोरा आंदोलन समिति ने इसके लिए व्यापक तैयारी की है।

    इस संबंध में समिति के कृष्ण कुमार कुररिया ने बताया कि इस बैठक में सिहोरा के समस्त राजनीतिक दलों के नेताओं के साथ साथ सामाजिक, धार्मिक संगठनों के सदस्यों और प्रत्येक जनमानस को भी आमंत्रित किया जा रहा है।

    सभी मिलकर सिहोरा जिला के लक्ष्य की प्राप्ति के लिए एक ठोस रणनीति का निर्धारण करेंगे। समिति के अनिल जैन, विकास दुबे, सुशील जैन, संतोष पांडे, अमित बक्शी, मानस तिवारी, रामजी शुक्ला, प्रदीप दुबे, मोहन सोंधिया, राजभान मिश्रा आदि ने सभी सिहोरा वासियों से आज दोपहर तीन बजे सामुदायिक भवन थाने के पास सिहोरा पहुंचने का आग्रह किया है।

  • दावा सुंदरता निखारने का… गलत उपचार से बिगड़ रहा चेहरा, महिलाएं हो रहीं गंभीर संक्रमण की श‍िकार

    अनाड़ी डाॅक्टर के लेजर ट्रीटमेंट से युवती की त्वचा जल गई। – सांकेतिक चित्र।

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    त्वचा एवं केश समस्या पर झोलाछाप और दूसरी पैथी के चिकित्सक से परामर्श पड़ रहा महंगा।मध्‍य प्रदेश में जबलपुर में त्‍वचा रोग विशेषज्ञों के पास प्रतिदिन पहुंच रहे बड़ी संख्‍या में पीड़ित।अतिरिक्त मात्रा में स्टेरायड और एंटीबायोटिक दिए जाने के कारण हो रही स्‍वास्‍थ्‍य संबंधी समस्‍या।

    नईदुनिया प्रतिनिधि, जबलपुर। गोरी और चिकनी त्वचा की चाहत में झोलाछाप से उपचार कराने पर चेहरा बिगड़ रहा है। ब्यूटी पार्लर में त्वचा से दाग-धब्बे हटाने के लिए मनमानी क्रीम का उपयोग गंभीर संक्रमण का कारण बन रहा है। नगर में चर्म रोग विशेषज्ञों के क्लीनिक में प्रतिदिन त्वचा एवं केश संबंधी समस्या से पीड़ित व्यक्ति स्थिति बिगड़ने पर पहुंच रहे हैं।

    झोलाछाप चिकित्सक या ब्यूटी पार्लर गए

    इसमें अधिकतर ऐसे मरीज हैं जो अपना सौंदर्य निखारने के लिए झोलाछाप चिकित्सक या ब्यूटी पार्लर में गए थे। जहां, धड़ल्ले से मरीजों को दूसरी पैथी की दवा और उपचार पद्धति का उपयोग हो रहा है। अतिरिक्त मात्रा में स्टेरॉयड और एंटीबायोटिक दिए जाने से मरीज स्वास्थ्य संबंधी समस्या से घिर रहे हैं। इन्हें त्वचा, फेफड़ों से लेकर रक्त संबंधी गंभीर संक्रमण की आशंका बन रही है।

    हाल में आए कुछ मामले….

    40 वर्षीय एक महिला की आंख के पलकों पर पाइोजेनिक ग्रैनुलोमा था। नीम-हकीम ने एक मसा नाशक लोशन दिया। दूधवाले ने मसा के नीचे एक बाल बांध दिया। कुछ दिन में यह गंभीर घाव बन गया। इसे बाद में रेडियोफ्रीक्वेंसी एब्लेशन से हटाया गया। 26 वर्षीय एक युवती का रंग सांवला था। विवाह से पहले उसने गोरी त्वचा के लिए एक स्किन क्लीनिक में संपर्क किया। जहां, अनाड़ी डाॅक्टर के लेजर ट्रीटमेंट से युवती की त्वचा जल गई। विवाह से तीन दिन पहले खराब हुई त्वचा को अब ठीक होने में तीन वर्ष लग जाएंगे। एक 58 वर्षीय महिला अपना चेहरा की त्वचा पर निखार के लिए एक ब्यूटी पार्लर से क्रीम लेकर उपयोग कर रही थी। लगभग 15 वर्ष से जिस क्रीम का वह उपयोग कर रही थी उसमें स्टेरायड था। इसे निरंतर लगाने से त्वचा पतली हो गई है। अब वह संक्रमण की समस्या से जूझ रही है।

    लगातार आ रहे मरीज

    त्वचा संबंधी समस्या लेकर लगातार मरीज आ रहे हैं। कई मरीज ऐसे आ रहे हैं जिनका केस गलत उपचार से बिगड़ गया है। ये लोग उन क्लीनिक और चिकित्सक के पास उपचार के लिए गए थे, जो दूसरी विधा के हैं। झोलाछाप चिकित्सकों और अवैध क्लीनिक पर कार्रवाई के लिए स्वास्थ्य विभाग को सूचित किया है।- डाॅ. अमरेंद्र पांडे, पूर्व अध्यक्ष, आईएमए

    बड़ी चिंता…घट रही रोगप्रतिरोधक क्षमता

    त्वचा रोग विशेषज्ञों ने बताया कि झोलाछाप और अकुशल चिकित्सक चर्म एवं केश संबंधी समस्या के निदान के लिए धड़ल्ले से स्टेराॅयड और एंटीबायोटिक का उपयोग कर रहे है। संक्रमण गंभीर होने पर जब विशेषज्ञ चिकित्सक के पास उपचार के लिए पहुंच रहे हैं तो उन्हें महंगे एंटीबायोटिक इंजेक्शन देना पड़ रहा है। इससे मरीज की रोग प्रतिरोधक क्षमता कम हो रही है। उन्हें बुखार सहित अन्य संक्रमण हो रहे हैं। गरीब रोगी के लिए इन महंगे इंजेक्शन का व्यय वहन करना मुश्किल होता है।

    अवैध क्‍लीनिक की श‍ि‍कायतें मिली हैं

    अवैध क्लीनिक संचालन से संबंधित शिकायतें आई हैं। हाल ही में एक क्लीनिक का पंजीयन निरस्त किया गया है। इस क्लिनिक से दूसरी पैथी की दवा जा रही थी। जहां भी शिकायत मिल रही है जांच कराई जा रही है। नियम का उल्लंघन करने वालों पर कार्रवाई की जाएगी।- डाॅ. संजय मिश्रा, मुख्य चिकित्सा एवं स्वास्थ्य अधिकारी

    यहां आ रही समस्या..

    अवैध क्लीनिक में सौंदर्य निखारने के लिए प्लेटलेट रिच प्लाज्मा (पीआरपी) का हो रहा है। लापरवाही पर रक्त संबंधी संक्रमण का खतरा रहता है। अनाड़ी लेजर ट्रीटमेंट कर रहे हे। दाग-धब्बे हटाने के फेर में त्वचा जला दे रहे हैं। कुछ क्लीनिक स्किन स्पेशलिस्ट होने का भ्रामक प्रचार करते हैं। ऐसे छोटे-छोटे क्लीनिक गली-मोहल्ले में खुल रहे हैं, जहां सीधी नजर नहीं रहती है। उपचार में जेल और थैरेपी के लिए घटिया उपकरणों का उपयोग किया जा रहा है। स्किन ट्रीटमेंट क्लीनिक की चेन वाले कुछ केंद्रों में होम्योपैथी चिकित्सक की नियुक्ति कर उससे एलोपैथी और लेजर का कार्य लिया जा रहा है। ब्यूटी, हेयर पार्लर और झोलाछाप चिकित्सक के यहां से मनमाने लोशन, क्रीम बेचे जा रहे हैं। अवैध क्लीनिक और झोलाछाप चिकित्सकों को प्रभावी लोगों का संरक्षण मिलने से कार्रवाई रुक जाती है। गलत उपचार पर अंकुश नहीं लग पा रहा है।

  • हाई कोर्ट ने पलटा सत्र न्यायालय का फैसला, पत्नी को जलाने वाले की उम्र कैद की सजा रोकी

    महिला की बेटी के धारा-164 के बयान घटना के एक माह बाद दर्ज किए गए थे।

    HighLights

    पोस्टमार्टम रिपोर्ट में अंगूठे में नहीं था स्याही का निशान। सत्र न्यायालय पहुंचने के बाद उम्रकैद की सजा सुनाई थी। बयान और मृत्यु के बीच नौ घंटों का अंतर भी था।

    नईदुनिया, जबलपुर (MP High Court)। हाई कोर्ट के न्यायमूर्ति विवेक अग्रवाल व न्यायमूर्ति अवनींद्र कुमार सिंह की युगलपीठ ने मृत्युपूर्व कथन को संदिग्ध पाते हुए सत्र न्यायालय द्वारा पारित उम्रकैद के फैसले को निरस्त कर दिया। हाई कोर्ट ने अपने आदेश में साफ किया कि संदिग्ध मृत्युपूर्व कथन सजा का आधार नहीं हो सकता।

    बयान और मृत्यु के बीच सिर्फ नौ घंटों का अंतर

    हाई कोर्ट ने पाया कि मृत्युपूर्व कथन में मृतिका के अंगूठा का निशान लगा हुआ था। पोस्टमार्टम रिपोर्ट के दौरान मृतिका के अंगूठे में स्याही नहीं थी। बयान और मृत्यु के बीच सिर्फ नौ घंटों का अंतर था। अपीलकर्ता सागर निवासी पप्पू उर्फ माखन साहू व उसके मित्र बल्लू उर्फ बलराम की ओर से हाई कोर्ट में पक्ष रखा गया।

    पत्नी को जिन्दा जलाने का आरोप लगा था

    पप्पू पर मित्र बल्लू के साथ मिलकर पत्नी को जिन्दा जलाने का आरोप लगा था। जिसे लेकर पुलिस ने अपराध कायम किया और मामला सत्र न्यायालय पहुंचने के बाद उम्रकैद की सजा सुना दी गई।

    क्या था अभियोजन का आरोप

    अभियोजन के अनुसार पप्पू ने शराब पीने के लिए अपनी पत्नी से रूपये मांगे थे। पत्नी द्वारा मना करने पर उसने अपने दोस्त बल्लू के साथ मिलकर मिट्टी का तेल डालकर आग लगा दी। महिला को 90 प्रतिशत जलने के कारण अस्पताल में भर्ती कराया गया था।

    अपील में क्या तर्क दिया

    सत्र न्यायालय के फैसले को चुनौती वाली हाई कोर्ट में दायर अपील में तर्क दिया गया कि मृत्युपूर्व बयान में महिला के अंगूठे के निशान की बात दर्ज हैं। किंतु वास्तविकता यह थी कि महिला के हाथ पूरे तरह जले हुए थे। पोस्टमार्टम रिपोर्ट के अनुसार महिला के हाथ में स्याही का निशान नहीं था।

    हाई कोर्ट ने मृत्युपूर्व बयान को संदिग्ध माना

    महिला की बेटी के धारा-164 के बयान घटना के एक माह बाद दर्ज किए गए थे। इस दौरान बेटी उसके ससुराल पक्ष के पास थी। बहरहाल, हाई कोर्ट ने मृत्युपूर्व बयान को संदिग्ध मानते हुए अपीलकर्ताओं को दोषमुक्त करने का आदेश पारित कर दिया।

  • मायके में रह रही महिला की मोहल्‍ले के युवक से हुई थी दोस्‍ती… कहा – अब पति के साथ रहूंगी और बातचीत कर दी बंद तो पति को उता‍र दिया मौत के घाट

    पुलिस ने युवक की हत्‍या के आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है। – सांकेतिक चित्र।

    HighLights

    बरगी थाना क्षेत्र के निगरी में हुई हत्या की जांच में खुलासा। वारदात के आरोपित प्रेमी और उसके दो दोस्त गिरफ्तार।चाकू से अनेक वारकर युवक को उतार दिया मौत के घाट।

    नईदुनिया प्रतिनिधि, जबलपुर। बरगी थाना क्षेत्र निवासी में निगरी तिराहा निवासी मुकेश झारिया (50) की हत्या उसकी पत्नी के पुरुष मित्र ने अपने दो दोस्तों के साथ मिलकर की थी। हत्या के आरोपित विवेक दुबे (22), मयंक त्रिपाठी (31) और संजय चौधरी (21) को गिरफ्तार कर लिया गया है। आरोपित खमरिया थाना क्षेत्र के घाना और सुंदरपुर के रहने वाले हैं।

    बच्‍चों के साथ मायके में रहती थी महिला

    यह जानकारी गुरुवार को अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सूर्यकांत शर्मा एवं बरगी नगर पुलिस अधीक्षक सुनील नेमा ने पत्रकारों से बातचीत में दी। उन्होंने बताया कि मुकेश की पत्नी, बच्चों के साथ तीन-चार वर्ष से खमरिया घाना स्थित मायके में रह रही थी। वहीं, उसकी मोहल्ले में रहने वाले विवेक दुबे से मित्रता हो गई। कुछ समय पहले महिला ने विवेक से कहा कि वह अब पति के साथ रहेगी। उसने इसके बाद विवेक से बातचीत और मिलना बंद कर दिया।

    आरोीप ने तीन दोस्‍तों को झांसे में लिया

    रोष में आकर विवेक ने महिला के पति की हत्या कराना ठाना। उसने तीन दोस्तों को झांसे में लिया। उन्हें बताया कि निगरी में एक व्यक्ति को मारने की सुपारी मिली है। मोटी राशि मिलेगी। चारों ने मिलकर वारदात को अंजाम दिया। महिला का पति मुकेश निगरी में अपनी मां के साथ रहता था।

    घर के बाहर मिला था रक्‍तरंंजित शव

    जानकारी के अनुसार युवक की मां स्वजन के यहां टेमरभीटा गई थी। तीन अगस्त को घर के बाहर मुकेश का रक्तरंजित शव मिला। सीसीटीसी कैमरों के फुटेज खंगालने पर एक मोटरसाइकिल में तीन संदेही दिखे। इनकी (विवेक, मयंक, संजय) गिरफ्तारी के बाद घटना उजागर हुई।

    चाकू से किए कई वार

    आरोपित दो अगस्त की रात को निगरी गए थे। घर के बाहर मुकेश सो रहा था, तभी तीनों ने चाकू से उस पर कई वार कर हत्या कर दी। इसके बाद अपने घर लौट गए। पता चला है कि आरोपी विवेक तीन माह से हत्या की योजना बना रहा था। उसने अकेले निगरी जाकर रैकी की, फिर वारदात को अंजाम दिया। तीनों आरोपितों को बुधवार को न्यायालय के निर्देश पर जेल भेज दिया गया है। आरोपितों को पकड़ने में बरगी थाना प्रभारी कमलेश चौरिया, खमरिया थाना प्रभारी भुपेन्द्र आर्माे, बरगी नगर चौकी की उप निरीक्षक सरिता पटेल की भूमिका रही।