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  • City Forest Indore: बेटी की पढ़ाई के लिए इंदौर आए और 10 हजार पेड़ों को बना लिया अपना ‘बेटा’

    (फाइल फोटो)

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    सिटी फॉरेस्ट पिपलियाहाना में 2 साल में लहलहाता जंगल विकसित हुआ। छिंदवाड़ा से इंदौर आए संजय पटेल ने बंजर जमीन को हरा-भरा बनाया। सिटी फॉरेस्ट में 10,000 से अधिक पौधे 15 फीट ऊंचाई तक बढ़ चुके हैं।

    नईदुनिया प्रतिनिधि, इंदौर। ‘‘कौन कहता है आसमां में सुराख नहीं हो सकता, एक पत्थर तो तबीयत से उछालो यारों‘‘ दुष्यंत कुमार की इन पंक्तियों को साकार होते देखना है तो आपको पिपलियाहाना में विकसित हो रहे सिटी फारेस्ट तक आना होगा। यहां लहलहाते जंगल को देख सहज ही अनुमान नहीं होता कि यह सिर्फ 2 वर्षों की मेहनत का नतीजा है।

    इंदौर की बिगड़ती आबोहवा से आहत

    यह मेहनत है इंदौर की उजड़ती आबोहवा से आहत एक ऐसे व्यक्ति की, जो सिर्फ अपनी बेटी की पढ़ाई के सिलसिले में छिंदवाड़ा से इंदौर आया था। बेटी कमरा लेकर अकेली रहने से यहां खुश नहीं थी। ऐसे में माता-पिता सब कुछ छोड़कर बेटी को सपोर्ट करने इंदौर ही आ गए। यहां बेटी तो पढ़ाई के सिलसिले में घर से बाहर रहती, लेकिन पिता दिनभर घर बैठे रहते।

    2 वर्ष में तैयार हो गया लहलहाता जंगल

    ऐसे में पिता को सूझा कि उन्हें अपने शौक पर कुछ काम करना चाहिए। चूंकि वे किसान हैं और उन्हें बागवानी में आनंद मिलता है, इसलिए वे नगर निगम गए और शहर में पेड़-पौधे लगाने के अपने शौक के बारे में बताया। निगम ने उनका जुनून देखते हुए उन्हें शहर में सिटी फॉरेस्ट डेवलप करने का टेंडर भरने को कहा। संयोग से उनके दाम कम थे, तो टेंडर उन्हें मिल भी गया। इसके बाद नगर निगम द्वारा दी गई बंजर जमीन को पति-पत्नी ने मिलकर केवल 2 वर्षों में लहलहाते जंगल में बदल दिया।

    छिंदवाड़ा से इंदौर आए थे संजय पटेल

    यहां बात हो रही है छिंदवाड़ा निवासी संजय पटेल की। पिपलियाहाना क्षेत्र में लहलहाते पौधों को देखते हुए पटेल ने बताया कि 2 वर्ष पहले तक यह जमीन बंजर पड़ी थी। बेटी IIT की कोचिंग के सिलसिले में इंदौर में थी, लेकिन उसे अकेले रहना अच्छा नहीं रहता था। मजबूरी में हम पति-पत्नी भी उसके साथ इंदौर आ गए। यहां मैंने देखा कि पिपलियाहाना क्षेत्र में लंबी चौड़ी जमीन बंजर पड़ी है।

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    मैं किसान हूं और पौधों को रोपना और उनकी देखभाल करना मेरे संस्कार हैं। मैंने संकल्प लिया कि एक दिन मैं इस बंजर जमीन को हराभरा बनाऊंगा। कहते हैं न कि जब आपका संकल्प पवित्र हो तो ईश्वर स्वयं आपकी मदद करते हैं। मेरे साथ भी ऐसा ही हुआ। मैंने बंजर जमीन को हराभरा करने के संकल्प के साथ निगम अधिकारियों से चर्चा की तो उन्होंने मुझे सिटी फारेस्ट के लिए टेंडर भरने के लिए कह दिया। – संजय पटेल

    सिटी फॉरेस्ट में आज 10 हजार से ज्यादा पौधे

    संजय पटेल बताते हैं कि यह ईश्वरीय चमत्कार ही था कि मेरा टेंडर खुला और मुझे अपने संकल्प को पूरा करने का मौका मिल गया। दो वर्षों की मेहनत का नतीजा है कि सिटी फारेस्ट में 10 हजार से ज्यादा पौधे आज 10 से 15 फीट ऊंचाई के हो गए हैं। मैं और मेरी पत्नी दिनभर इन पौधों की देखभाल में लगे रहते हैं। ये सभी पौधे मेरे लिए मेरे पुत्र समान हैं।

    पटेल कहते हैं कि हमारे वेदों में वृक्षों की महत्ता बताते हुए कहा गया है कि 10 कुओं के बराबर एक बावड़ी, 10 बावड़ी के बराबर एक सरोवर, 10 सरोबार के बराबर एक पुत्र और 10 पुत्रों के बराबर एक वृक्ष होता है। मेरे ये हजारों बेटे बड़ा होकर सिर्फ मेरी ही नहीं पूरे शहर की सेहत का ध्यान रखेंगे। आज भी वे शहरवासियों को सांस लेने के लिए ताजा और शुद्ध ऑक्सीजन उपलब्ध करवा रहे हैं।

  • इंदौर बना आईटी कंपनियों की पहली पसंद… मुख्यमंत्री डाॅ. मोहन यादव बोले – मप्र में बेहतर वातावरण और सुविधाएं

    मुख्यमंत्री डाॅ. मोहन यादव ने इंदौर में आईटी कंपनी काॅग्निजेंट के कार्यालय का शुभारंभ किया।

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    सीएम डॉ मोहन यादव बोले- इंदौर में इंफ्रास्ट्रक्चर और कुशल प्रतिभाएं।आइटी कंपनियों को बेहतर वातावरण, सुविधाएं देने को सरकार है तत्पर।मुख्‍यमंत्री ने किया इंदौर में आईटी कंपनी काॅग्निजेंट के कार्यालय का शुभारंभ

    नईदुनिया प्रतिनिधि, इंदौर। विगत कुछ वर्षों से आइटी कंपनियों का रुझान इंदौर की तरफ बढ़ा है, इसलिए यहां कई कंपनियां अपने कार्यालय शुरू कर रही हैं। इसी कड़ी में मंगलवार को एक और उपलब्धि जुड़ गई, जब ब्रिलियंट कन्वेंशन सेंटर में मुख्यमंत्री डाॅ. मोहन यादव ने आईटी कंपनी काॅग्निजेंट के कार्यालय का शुभारंभ किया।

    काग्नि‍जेंट ने इंदौर को चुना

    मुख्यमंत्री ने कहा कि इंफ्रास्ट्रक्चर और कुशल प्रतिभाओं के कारण इंदौर देश और दुनिया की आइटी कंपनियों की पहली पसंद बनकर उभरा है। प्रदेश में आईटी कंपनियों को बेहतर वातावरण और सुविधाएं प्रदान करने के लिए सरकार सदैव तत्पर है। यह हमारे लिए बेहद खुशी की बात है कि काग्निजेंट ने अपने नए केंद्र के शुभारंभ के लिए इंदौर को चुना है।

    मुख्यमंत्री डाॅ. मोहन यादव ने कहा कि मध्‍य प्रदेश सरकार व्यवसायों के लिए नए-नए अवसर पैदा करने के लिए अटल है। उन्‍होंने कहा कि हमारा प्रयास है कि इनोवेशन एवं टेक्नोलाॅजी के लगातार विकास से प्रदेश को देश के अलग डिजिटल केंद्र के रूप में आगे बढ़ाते हुए युवाओं के लिए नए अवसर पैदा करें। उन्होंने कहा कि 18वीं और 19वीं सदी खाद्य और कपास से आर्थिक विकास से जुड़ी थी। 20वीं सदी में पेट्रोकेमिकल से आर्थिक विकास का दौर रहा। सीएम डाॅ. मोहन यादव ने अपने संबोधन में यह भी कहा कि अब 21वीं सदी का दौर बौद्धिक युग का दौर है। इस अवसर पर नगरीय प्रशासन एवं विकास मंत्री कैलाश विजयवर्गीय, जल संसाधन मंत्री तुलसीराम सिलावट, सांसद शंकर लालवानी, काग्निजेंट अमेरिका के ईवीपी एवं अध्यक्ष सूर्या गुम्मादी आदि उपस्थित रहे।

    हमारी सरकार का संकल्प है कि औद्योगिक निवेश के माध्यम से देश में प्रदेश की एक अलग पहचान बनाएंगे, इसके लिए हम हर महीने अलग-अलग स्थानों पर इन्वेस्टर समिट कर रहे हैं और प्रदेश के बाहर भी दौरे कर रहे हैं।

    आज इंदौर में कॉग्नीजेंट के माध्यम से डेढ़ हजार से ज्यादा रोजगार के अवसर बने… pic.twitter.com/QKcD9P8Yve

    — Chief Minister, MP (@CMMadhyaPradesh) August 13, 2024

    स्थानीय प्रतिभाओं को मिलेंगे अवसर

    काॅग्निजेंट ने ब्रिलियंट टाइटेनियम में 500 लोगों की बैठक क्षमता का केंद्र बनाया है। हाइब्रिड माॅडल अपनाने से यहां 1250 एसोसिएट काम कर सकते हैं। कंपनी दुनियाभर में बैंकिंग, वित्तीय सेवाएं, बीमा, संचार मीडिया, निर्माण, ऊर्जा सहित अलग-अलग उद्योगों के 30 ग्राहकों को अपनी सेवाएं प्रदान करती है। इस कार्यालय के शुभारंभ से स्थानीय प्रतिभाओं के लिए नए-नए अवसर पैदा होंगे। मुख्यमंत्री ने कई युवा कर्मचारियों से चर्चा की, तो यह सामने आया कि प्रदेश के विभिन्न जिलों में रहने वाले युवाओं को यहां अवसर मिला है।

  • Gold Price Today: विदेशों में सोना ऊंचाई पर, इंदौर में 71900 रुपए तक पहुंची कीमत

    (फाइल फोटो)

    HighLights

    अंतरराष्ट्रीय मार्केट में सोना और चांदी की कीमतों में आई तेजी। इंदौर में सोना 71900 रुपए और चांदी 82600 रुपए तक पहुंची। सोना और चांदी कॉमेक्स पर रिकॉर्ड ऊंचाई पर पहुंचने के करीब।

    नईदुनिया प्रतिनिधि,इंदौर। अंतरराष्ट्रीय बुलियन वायदा मार्केट में सप्ताह का पहला कारोबारी दिन तेजी लेकर आया। सोने-चांदी की कीमतों सुधार देखा गया। सोना फिर रिकार्ड ऊंचाई के करीब पहुंच गया है। कॉमेक्स पर सोना 2445 डॉलर प्रति औंस और चांदी 27.99 डॉलर प्रति औंस पर कारोबार करती देखी गई। इसके चलते भारतीय बाजारों में भी सोने-चांदी की कीमतों में तेजी जारी रही।

    इंदौर में सोने और चांदी का भाव

    इंदौर में सोना केडबरी नकद में 200 रुपए बढ़कर 71900 रुपए प्रति 10 ग्राम और चांदी चौरसा 700 रुपए बढ़कर 82600 रुपए प्रति किलो पर पहुंच गई। बीते सप्ताह सोने में उतार-चढ़ाव देखा गया। चांदी घटती दिखी, लेकिन अब मध्य पूर्व में बड़े युद्ध की चिंताओं और यूक्रेन द्वारा रूस के खिलाफ आक्रामक अभियान शुरू करने के बीच सुरक्षित आश्रय की मांग सोने को फिर मजबूती दे रही है।

    कॉमेक्स पर सोने का भाव

    कॉमेक्स पर सोना 50 डॉलर और बढ़ा तो रिकार्ड दामों पर पहुंच जाएगा। हालांकि अमेरिका से आने वाले उपभोक्ता मूल्य सूचकांक मुद्रास्फीति के आंकड़ों के इंतजार में अभी बाजार थोड़ा ठहरा है। जुलाई के आंकड़ों में मुद्रास्फीति में थोड़ी कमी आने की उम्मीद है, जिससे फेडरल रिजर्व को ब्याज दरों में कटौती शुरू करने का अधिक विश्वास मिलेगा।

    कम ब्याज दरें सोने के लिए अच्छी

    सितंबर में केंद्रीय बैंक द्वारा 25 या 50 आधार अंकों की कटौती को लेकर व्यापारियों का मत बंटा हुआ है। कम ब्याज दरें सोने के लिए अच्छी मानी जाती है। कॉमेक्स पर सोना वायदा 2,445 डॉलर तक जाने के बाद 2342 डॉलर और नीचे में 2,323 डॉलर प्रति औंस और चांदी ऊपर में 27.99 डॉलर तक जाने के बाद 27.94 डॉलर और फिर नीचे में 27.21 डॉलर प्रति औंस पर कारोबार करता देखी गई।

    इंदौर के बंद भाव

    सोना केडबरी रवा नकद में 71900 सोना (आरटीजीएस) 71650 सोना (91.60 कैरेट) (आरटीजीएस) 65600 रुपये प्रति 10 ग्राम बोला गया। शनिवार को सोना 71700 रुपए पर बंद हुआ था। चांदी चौरसा नकद 82600 चांदी चौरसा (आरटीजीएस) 82500 चांदी टंच 82700 रुपए प्रति किलो और चांदी सिक्का 950 रुपए प्रति नग बिका। शनिवार को चांदी चौरसा नकद 81900 रुपए पर बंद हुई थी।

  • Ganpati Ghat: गणपति घाट पर दुर्घटनाओं को रोकने के लिए बन रही सड़क, अब सिर्फ 2 किमी का काम बाकी

    गणपति घाट को व्यवस्थित किया जा रहा है ताकि हादसे कम किए जा सकें।

    HighLights

    100 करोड़ रुपये की लागत से बन रहे गणपति घाट का काम जारी। निर्माण एजेंसी ने अब तक साढ़े छह किमी की सड़क तैयार कर दी है।गणपति घाट पर अंडर पास का काम अगले महीने पूरा किया जाएगा।

    नईदुनिया प्रतिनिधि, इंदौर(Ganpati Ghat)। सड़क हादसों को रोकने के लिए मुंबई-आगरा राष्ट्रीय राजमार्ग पर गणपति घाट को व्यवस्थित किया जा रहा है। साढ़े आठ किमी लंबे नए मार्ग निर्माण का काम काफी धीमा है। जबकि भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) को दिसंबर तक काम खत्म करना है।

    अभी फ्लाईओवर और दो किमी की सड़क का डामरीकरण बाकी है। हालांकि अंडर पास का काम अंतिम चरण में पहुंच चुका है। फिलहाल निर्माण एजेंसी को ब्रिज के लिए फ्लाई एश की जरूरत है। इसे लेकर महीनेभर का इंतजार करना होगा।

    जून 2023 पर शुरू हुआ था निर्माण

    100 करोड़ रुपये की लागत से बन रहे गणपति घाट का काम जून 2023 में शुरू हुआ था। निर्माण एजेंसी ने साढ़े छह किमी की सड़क तैयार कर दी है। डामरीकरण भी हो चुका है। अंडर पास का काम अगले महीने पूरा किया जाएगा।

    आने-जाने वाले वाहनों को हो रही दिक्कत

    निर्माण कार्य चलने के बावजूद यहां से वाहनों को निकलने के लिए वैकल्पिक मार्ग नहीं है। इसके चलते मार्ग पर वाहनों की आवाजाही में काफी दिक्कतें होती है। कई बार गाड़ियां आपस में टकरा जाती हैं। जबकि रात में अधिक दिक्कत है। इस वजह से आए दिन सड़क हादसे हो रहे हैं।

    दिसंबर तक पूरा हो जाएगा सड़क का काम

    अधिकारियों के मुताबिक सड़क का दो किलोमीटर का हिस्सा बाकी है। बेस तैयार होने के बाद सीमेंटीकरण होगा। बाद में डामर बिछाई जाएगी। दिसंबर तक काम पूरा किया जाएगा। इस संबंध में निर्माण एजेंसी को निर्देश दिए जा चुके हैं।

    समय से पहले करेंगे काम

    दिसंबर तक गणपति घाट बनाने की डेडलाइन है, जो समय से पहले पूरा किया जाएगा। वैसे दो किमी की सड़क का डामरीकरण और ब्रिज बनना बाकी है। ओंकारश्वर में इन दिनों कावड़ यात्री पहुंच रहे हैं। इस दौरान वहां से भारी वाहन को लेकर प्रतिबंध लगा है। – सुमेश बांझल, प्रोजेक्ट डायरेक्टर भारतीय राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण

    नहीं आ रहे भारी वाहन

    सावन होने के चलते इन दिनों ओंकारेश्वर और महाकालेश्वर आने-जाने वाले कावड़ यात्री निकल रहे हैं। इस बीच इंदौर-खंडवा रोड पर भारी वाहनों पर प्रतिबंध लगा रखा है। इसके चलते गणपति घाट पर बनने वाले ब्रिज के लिए फ्लाई एश नहीं आ रही है। वैसे सिंगाजी पावर प्लांट से 80 हजार क्यूबिक मीटर एश की व्यवस्था हो चुकी है। यह अगले महीने आने की उम्मीद है।

  • इंदौर शहर में मुसीबत बन गए ई-रिक्शा… 23 रूट हैं तय, लेकिन नहीं चलते इन पर

    राजवाड़ा पर रोक के बावजूद आ जाते हैं ई-रिक्शा। इससे जाम की स्थिति बनी रहती है।

    नईदुनिया प्रतिनिधि, इंदौर(e rickshaw in Indore)। इंदौर शहर में यातायात सुगम करने तथा प्रदूषण कम करने के लिए ई-रिक्शा चलाए गए, लेकिन अब ये शहर के गले की फांस बनने लगे हैं। इन्हें निर्धारित रूट पर संचालित करने के लिए करीब पांच माह पहले 23 रूट बनाए गए थे।

    तय हुआ था कि इन रूटों पर आठ हजार से अधिक ई-रिक्शा का संचालन किया जाएगा, मगर अब तक इस दिशा में कोई प्रगति नहीं हुई। परिणाम यह हुआ कि अब ई-रिक्शा चालकों की जहां मर्जी होती है, वहां अपनी गाड़ियां दौड़ाते रहते हैं। इससे शहर में यातायात की समस्या सुलझने के बजाय और उलझने लगी है। शहर के प्रमुख मार्गों पर तो इनकी रेलमपेल के कारण कई बार जाम की स्थिति बन जाती है।

    कलेक्टर को दिया ज्ञापन

    इंदौर शहर की प्रमुख सड़कों से गलियों और कालोनियों तक ई-रिक्शा का संचालन किया जाना था, ताकि शहर की सड़कों पर से यातायात का दबाव कम किया जा सके। साथ ही लोग गलियों और कालोनियों से ई-रिक्शा की सहायता से मुख्य मार्गों तक आसानी से पहुंच सके, परंतु ई-रिक्शा धड़ल्ले से मुख्य मार्गों पर दौड़ रहे हैं।

    प्रत्येक चौराहे पर चार से पांच ई-रिक्शा हमेशा खड़ी रहती है। कहीं भी रिक्शा खड़ी कर सवारी बैठाई जा रही है। इस कारण दिन में कई बार जाम की स्थिति निर्मित हो जाती है। गत दिनों भगवा आटो रिक्शा संघ के अध्यक्ष वीरेंद्र कुमार त्रिपाठी ने भी कलेक्टर आशीष सिंह को ई-रिक्शा को निर्धारित रूट पर चलाने को लेकर ज्ञापन दिया है।

    यातायात सुधार के लिए किए थे प्रयास

    इंदौर जिले में मार्च माह में नए ई-रिक्शा के रजिस्ट्रेशन पर रोक लगाई गई थी। रजिस्ट्रेशन रोक को शोरूम संचालकों ने कोर्ट में चुनौती दी और प्रतिबंध हटाया। इंदौर शहर के अंदर रूटों पर कलर कोडिंग के हिसाब से ई-रिक्शा चलाई जाना है। शहर के बीच में राजवाड़ा पर ई-रिक्शा का प्रवेश प्रतिबंधित कर दिया गया था।

    एक रूट पर 300 ई-रिक्शा की अनुमति थी

    शहर में ई-रिक्शा के लिए 23 रूट बनाए गए हैं और एक रूट पर 300 ई-रिक्शा चलाने की बात हुई थी। इसमें एयरपोर्ट से लेकर तेजाजी नगर चौराहा, गंगवाल बस स्टैंड से ग्रीन पार्क कालोनी, राऊ गोल चौराहा से देवास नाका, मृगनयनी से देवास नाका, गिटार तिराहा से खजराना, पलासिया चौराहा से कनाड़िया रोड, बापट चौराहा से देवास नाका का रूट है।

    इसके साथ ही एयरपोर्ट से अरविंदो हास्पिटल, मरीमाता चौराहा से सरवटे बस स्टैंड, संजय सेतु से चोइथराम मंडी चौराहा, रेलवे स्टेशन सियागंज की ओर पटेल प्रतिमा से बिचौली हप्सी, संजय सेतु से राज मोहल्ला, बड़ा गणपति से कृष्णपुरा छत्री वन-वे, रेलवे स्टेशन से मूसाखेड़ी चौराहा, मधु मिलन चौराहा से भंवरकुआं चौराहा, महूनाका से कैट रोड, महू नाका से राजेंद्र नगर, नौलखा से देवगुराड़िया, चंदन नगर चौराहा से प्लेटफार्म नंबर 6 रेलवे स्टेशन रूट हैं।

    सड़क सुरक्षा समिति की बैठक में होगा फैसला

    शहर में ई-रिक्शा के संचालन के लिए रूट तय किए गए हैं। सड़क सुरक्षा समिति की बैठक में इसके संचालन की योजना पर निर्णय होगा। – प्रदीप शर्मा, आरटीओ

  • बच्ची को स्कूल छोड़ने जा रही थी, तीन लुटेरों ने की मोबाइल छीनने कोशिश… महिला ने लात मार गिराई बाइक और उन्हें दबोच लिया

    लुटेरों से भिड़ने वाली रामसखी।

    HighLights

    लुटेरे मोबाइल छीनने लगे, तो भी महिला ने नहीं छोड़ा। छीना झपटी में महिला नीचे गिर गई और चोट लग गई। इसके बाद वो वापस उठी और लुटेरों की बाइक गिरा दी।

    नईदुनिया प्रतिनिधि, इंदौर(Indore Crime News)। यह कहानी एक महिला के अप्रतिम साहस की है। इस महिला ने मोबाइल लूटने आए तीन लुटेरों से अकेले मुकाबला किया और न केवल मोबाइल बचाया बल्कि तीनों को दबोच लिया। हिम्मत, जिद, निडरता और साहस की यह कहानी 35 वर्षीय रामसखी की है।

    घटना बाणगंगा थाना अंतर्गत पारले फैक्ट्री के समीप बुधवार को हुई। भगतसिंह नगर निवासी रामसखी पति अनेकसिंह प्रजापत अपनी छह वर्षीय बेटी अंशिका को स्कूल छोड़ने जा रही थी। वह मोबाइल पर भतीजे से बात करते हुए बेटी का हाथ पकड़े हुए थी।

    नीचे गिर गई थी महिला

    तभी एक बाइक पर तीन बदमाश आए और झपट्टा मारकर रामसखी का मोबाइल छीनने लगे। लेकिन रामसखी ने मोबाइल नहीं छोड़ा। बदमाश ने और जोर लगाया तो छीना-झपटी में रामसखी नीचे जमीन पर गिर गईं और हाथ-पांव में चोट लगी।

    महिला ने नहीं छोड़ा मोबाइल

    इसके बावजूद मोबाइल नहीं छोड़ा तो एक बदमाश बाइक से उतरा और धक्का मारकर रामसखी से फोन छीन लिया। फोन छीनकर बदमाश बाइक से भागने ही वाले थे कि रामसखी बिजली की फुर्ती से उठी और जोरदार लात मारकर तीनों सवारों सहित बाइक नीचे गिरा दी।

    बाइक की चाबी भी निकाल ली

    इस बीच एक बदमाश की कालर भी पकड़ ली और बाइक की चाबी निकाल ली। महिला के इस साहस से बदमाश अवाक रह गए। वे फोन लौटाकर बाइक की चाभी वापस देने के लिए गिड़गिड़ाने लगे। तभी शोर सुन लोग इकट्ठा हुए और दो बदमाशों को वहीं दबोच लिया।

    ऐसे महिला की हिम्मत के आगे हार गए बदमाश

    मोबाइल पर बात करते हुए बेटी को छोड़ने जा रही रामसखी का बाइक सवार तीन बदमाशों ने पीछा किया।

    बदमाशों ने मोबाइल छीनने की कोशिश की, लेकिन रामसखी ने नहीं छोड़ा। छीनाझपटी में वह नीचे गिर गई।

    रामसखी ने साहस दिखाते हुए एक की कालर पकड़ ली और बाइक को लात मारकर तीनों को नीचे गिरा दिया।

    शोर सुनकर लोग इकट्ठा हुए और तीनों बदमाशों को पकड़कर पुलिस के हवाले कर दिया।

    तीनों आरोपितों को जेल भेजा

    लोगों ने तीनों को जमकर पीटा और पुलिस के सुपुर्द कर दिया। टीआई लोकेशसिंह भदौरिया के मुताबिक आरोपितों की पहचान विशाल दीक्षित उर्फ सनम, आकाश कुशवाह व श्याम कुशवाह, तीनों निवासी शिवकंठ नगर के रूप में हुई है। पुलिस ने तीनों आरोपितों को जेल भेज दिया है।

  • नौकरी नहीं मिली तो IIT-इंदौर में बम ब्‍लास्‍ट की धमकी का किया मेल… खुद को बताया था आईएसआई एजेंट, आरोपित पुलिस की गिरफ्त में

    आरोपित ने दहशत फैलाने के उद्देश्‍य से फर्जी आईडी से ई मेल किया था। – सांकेतिक चित्र।

    HighLights

    आईआईटी में नौकरी के लिए दिया था आवेदन।साक्षात्‍कार में युवक के हाथ लगी थी निराशा।दहशत फैलाने के उद्देश्‍य से दी थी धमकी।

    इंदौर। आईआईटी सिमरोल को बम से उड़ाने की धमकी देने वाले आरोपित को पुलिस ने पकड़ लिया है। ग्रामीण एसपी हिति‍का वासल ने इसकी पुष्टि की है। आरोपित का नाम चेतन सोनी है। आरोपित उज्‍जैन जिले के बड़नगर का निवासी बताया गया है। पुलिस आज प्रेस कांफ्रेंस कर पूरे मामले की जानकारी देगी।

    नौकरी नहीं मिलने से था परेशान

    एसपी ने बताया कि आरोपी ने नौकरी नहीं मिलने पर आईआईटी इंदौर में बम रखने और संस्‍थान को बम से उड़ाने की धमकी भरा मेल किया। इसके बाद आईआईटी सिमरोल में धमकी भरा ई-मेल करने वाले आरोपित को पुलिस ने पकड़ लिया है। बताया जाता है कि आरोपित ने नौकरी नहीं मिलने से परेशान होकर इस तरह का मेल कर दिया था।

    फर्जी आईडी बनाई और कर दिया मेल

    पुलिस के अनुसार आरोपित ने एमसीए किया है। उसने किसी कंपनी में नौकरी के लिए आवेदन किया था, लेकिन उसके हाथ निराशा लगी। इसके बाद उसने एक फर्जी आईडी बनाई और बम ब्‍लास्‍ट की धमकी भरा ई मेल कर दिया। केवल दहशत फैलाने के उद्देश्‍य से ही युवक ने ऐसा किया था।

    17 जुलाई को दी थी धमकी

    उल्‍लेखनीय है कि गत 17 जुलाई को सिमरोल स्थित आईआईटी को 15 अगस्‍त को बम से उड़ाने की धमकी का ई मेल भेजा गया था। इसके बाद पुलिस अधिकारी और साइबर टीम इस मामले की जांच में जुटी थी। यह भी पता चला है कि युवक ने वर्ष 2022 में आईआईटी में नौकरी के लिए आवेदन भेजा था।

    दहशत फैलाने के लिए किया

    पूछताछ के दौरान आरोपित ने पुलिस को यह भी बताया कि उसने केवल दहशत फैलाने के उद्देश्‍य से ऐसा किया था। भेजे गए मेल में खुद को पाकिस्‍तान का आईएसआई एजेंट बताते हुए धमकी दी गई थी।

    आरोपित ने नौकरी नहीं मिलने पर आक्रोश‍ित होकर आईआईटी सिमरोल को बम से उड़ाने की धमकी दी थी। आरोपित को पकड़ लिया गया है।

    हित‍िका वासल, ग्रामीण एसपी

  • इंदौर के करीब तिंछा फॉल में खुद की जान जोखिम में डाल शराब पार्टी कर रहे तीन युवकों पर केस दर्ज

    इंदौर के करीब महू तहसील में है तिंछा फॉल। फाइल फोटो

    नईदुनिया प्रतिनिधि, महू, इंदौर। इंदौर की महू तहसील के सिमरोल थाना क्षेत्र अंतर्गत आने वाले तिंछा फॉल में कलेक्टर के आदेश की अवहेलना करते हुए पर्यटन स्थल पर जान जोखिम में डालने पर तीन युवकों पर केस दर्ज किया है। यह इंदौर जिले का पहला प्रकरण है, जिसमे पर्यटकों पर प्रकरण दर्ज किया है।

    जानकारी के अनुसार तिंछा फॉल पर पार्किंग के आगे नदी है। यह क्षेत्र प्रतिबंधित है। सिमरोल थाना प्रभारी निरीक्षक अमित कुमार ने बताया कि रविवार को हितेश पुत्र प्रेमनारायण, सुशील पुत्र खिलावन दोनों निवासी बजरंग नगर और नीरज पुत्र राजेंद्र निवासी आदर्श नगर नदी किनारे पार्टी कर रहे थे।

    तीनों युवकों पर दर्ज किया गया केस

    साथ ही शराब का सेवन करते हुए नाच रहे थे। तभी पुलिस मौके पर पहुंची और तीनों को पकड़ा। तीनों युवकों पर पुरानी धारा 188 की तरह भारतीय न्याय संहिता में 223 वीएनएस के तहत कलेक्टर द्वारा जारी किए गए आदेश का पालन नहीं करने पर केस दर्ज किया है।

    जोखिम भरे स्थानों पर लोगों के जाने पर प्रतिबंध है

    अब युवकों को नोटिस दिया जाएगा, इसके बाद इसकी कार्यवाही न्यायालय में होगी। गौरतलब है कि कलेक्टर द्वारा इंदौर जिले के सभी पर्यटन क्षेत्रों में जोखिम भरे व एकांत वाले क्षेत्रों में लोगों की आवाजाही पर प्रतिबंध लगाया है।

    साथ ही पर्यटन स्थलों पर शराब का सेवन करने पर भी प्रतिबंध लगाया है। कलेक्टर द्वारा आदेश जारी करने के बाद इंदौर जिले में इस तरह का पहला मामला सिमरोल थाने पर दर्ज गया है।

  • Indore Traffic News: इंदौर में 100 से ज्यादा ट्रैफिक सिग्नल का बदलेगा टाइमिंग, चौराहे क्रास करने में नहीं लगेगी ज्यादा देर

    इंदौर के मधुमिलन चौराहे पर रोटरी बनाकर ट्रैफिक को सुगम बनाने का प्रयास किया जाएगा।

    HighLights

    सबसे ज्यादा परेशानी मधुमिलन चौराहे पर आती है। चौराहे पर दो रोटरी और दो सिग्नल बनाए जाएंगे।शहर के छावनी चौराहे पर भी उलझते हैं वाहन।

    नईदुनिया प्रतिनिधि, इंदौर। इंदौर शहर में बिगड़ रही यातायात व्यवस्था को सुधारने के लिए बड़ी कवायद चल रही है। यातायात पुलिस सौ से ज्यादा चौराहों, मार्गों और ट्रैफिक सिग्नल की टाइमिंग बदलाव करने की तैयारी में है। प्रमुख चौराहों पर रोटरी बनाने की योजना तैयार की गई है।

    इस बदलाव में एसजीएसआईटीएस कॉलेज के इंजीनियर को भी शामिल किया है। इस कवायद का मकसद शहर के ट्रैफिक को सुधारना है, ताकि वाहन चालक बेफिक्र होकर गुजर सकें। पुलिस आयुक्त राकेश गुप्ता ने बुधवार को शहर के ट्रैफिक अफसरों के साथ बैठक की।

    दो रोटरी और दो सिग्नल बनाए जाएंगे

    एसीपी ने प्रजेंटेशन के माध्यम से उन चौराहों की स्थिति बताई, जहां ट्रैफिक का दबाव अधिक रहता है। सबसे ज्यादा दिक्कत मधुमिलन चौराहा की थी। उलझते वाहनों की तस्वीर देखकर तय हुआ कि चौराहे पर दो रोटरी और दो सिग्नल बनाए जाएंगे।

    इसके पूर्व एसजीएसआईटीएस कॉलेज के इंजीनियर और ट्रैफिक पुलिस की टीम दौरा करेगी। स्कीम-140 स्थित अंडर बायपास की व्यवस्था सुधारने के लिए आइलैंड तोड़ने की योजना बनाई है। इसी तरह स्टार चौराहा से देवासनाका तक का दबाव कम करने के लिए भारी वाहनों को एमआर-11 से निकाला जाएगा।

    हालांकि इस रोड पर चौड़ीकरण का प्रस्ताव भी बनाया गया है। डीसीपी (ट्रैफिक)अरविंद तिवारी के मुताबिक आजादनगर चौराहा पर तो रोटरी में खामी है। इसके कारण यातायात का दबाव व्हाइट चर्च तक आता है। नई रोटरी आईआरसी के मानकों के अनुसार बनाई जाएगी।

    छावनी में दबाव की स्टडी और धोबी घाट पर ट्रैफिक मोड़ेंगे

    आयुक्त के मुताबिक छावनी चौराहा पर वाहन उलझते हैं। इस चौराहे पर ट्रैफिक पुलिस स्टडी करेगी। अग्रसेन चौराहा और मधुमिलन चौराहा से आने-जाने वाले वाहन सुगमता से निकाले जाएंगे। इंदिरा गांधी प्रतिमा से छावनी तक जगह कम है। अतिक्रमण हटाकर लेफ्ट टर्न डिवाइडर बनाने का प्रस्ताव बनाया है। एसीपी किरण शर्मा ने कहा कि जीपीओ चौराहा पर बिजली के पोल हटाने हैं। रोड मार्किंग और कैट आई की आवश्यकता है।

    रिंग रोड (पिपल्याहाना अंडरब्रिज) : इस रोड के माध्यम से अन्य जिलों और शहरों से आने वाले भारी वाहन, मध्यम वाहन, छोटी-बड़ी यात्री बसें, स्कूल, कॉलेज की बसें शहर में प्रवेश करती हैं। अस्पताल, होटल, स्कूल, कॉलेज होने से ट्रैफिक दबाव प्रतिदिन बढ़ता जा रहा है। रेडिसन होटल से खजराना चौराहा की ओर मेट्रो का काम चल रहा है। इस कारण रोड संकरे हो गए हैं। सत्यसाईं चौराहा : इस चौराहे की बनावट में ही खामियां हैं। विजय नगर से स्कीम-54 की तरफ जाने वाले वाहन अनावश्यक सिग्नल पर खड़े होते हैं। लेफ्ट टर्न पर पर्याप्त स्थान होने के बाद भी दुकानों के सामने बड़ा आइलैंड बनाकर बिजली के पोल और बैंक स्थापित करने से लेफ्ट टर्न बाधित होता है। सयाजी होटल चौराहा : इस चौराहे की बड़ी रोटरी मेट्रो निर्माण के कारण हटा दी थी। अस्थायी रोटरी टीन से ढंककर बनाई है। सिग्नल तो है लेकिन ट्रैफिक के मुताबिक रोटरी की आवश्यकता है।

  • इंदौर के निवासियों के लिए जरूरी सूचना, जलकर और संपत्तिकर दरों में बदलाव की तैयारी, ये हो सकती हैं नई दरें

    इंदौर नगर निगम

    HighLights

    200 से बढाकर 300 रुपये प्रतिमाह होग जलकर। संपत्तिकर में दो रुपये वर्गफीट की होगी बढ़ोतरी। इस वृद्धि के पक्ष में नहीं हैं शहर के विधायक।

    नईदुनिया प्रतिनिधि, इंदौर। इंदौर नगर निगम ने संपत्तिकर, जलकर और कचरा संग्रहण शुल्क बढ़ाने की तैयारी कर ली है। इन दरों में 15 वर्ष बाद बदलाव होने जा रहा है। जलकर की वर्तमान दर 200 रुपये को बढ़ाकर 300 रुपये प्रतिमाह किया जाएगा जबकि संपत्तिकर में 2 रुपये प्रति वर्गफीट की बढ़ोतरी की जा रही है। कचरा संग्रहण शुल्क को लेकर भी नया फार्मूला तैयार किया जा रहा है। हाल ही में हुई भाजपा कोर कमेटी की बैठक में टैक्स की दरों में बदलाव को लेकर चर्चा भी हुई है। हालांकि शहर के विधायक बढ़ोतरी के विरोध में हैं।

    जलकर की दर में 100 रुपये बढ़ेंगे

    वर्तमान में नगर निगम जलकर के रूप में 200 रुपये प्रतिमाह वसूल रहा है। इस कर की राशि को अब बढ़ाकर 300 रुपये कर दिए जाने की तैयारी है। इस इजाफ के पीछे नगर निगम की तरफ से एक तर्क दिया जा रहा है। निगम जलूद से नर्मदा का जल इंदौर लाने पर वसूली जा रही रकम से कई गुना ज्यादा राशि खर्च रहा है।

    15 साल पहले हुआ था आखिरी बदलाव

    जल कर में अंतिम बदलाव करीब 15 वर्ष पहले किया गया था। इन वर्षों में बिजली और अन्य खर्चों में बढ़ोतरी हो चुकी है। इसी तरह संपत्तिकर में दो रुपये प्रति वर्गफुट की बढ़ोतरी होना है। यह बदलाव भी 15 वर्ष बाद किया जा रहा है। हाल ही में नगर निगम ने कालोनियों के रेट जोन में बदलाव कर संपत्तिकर में बढ़ोतरी की थी।

    मल्टियों में रहने वालों पर लगाम कसने की तैयारी

    कचरा संग्रहण शुल्क में बढ़ोतरी के लिए निगम नए फार्मूले पर काम कर रहा है। वर्तमान में बहुमंजिला में रहने वाले कई परिवार कचरा संग्रहण शुल्क नहीं चुकाते हैं। ऐसे परिवारों पर लगाम कसने की तैयारी की जा रही है। निगम कचरा संग्रहण शुल्क में 10 प्रतिशत से 100 फीसद तक की बढ़ोतरी कर सकता है।