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  • राष्ट्रपति मुर्मू बोलें- चंद्रयान मिशन की तरह ही जीवन को भी देखें, भाग्य का डटकर मुकाबला करें, सफलता कदम उठाएगी

    रायपुर।। गुरु घासीदास विश्वविद्यालय के 10वें दीक्षांत समारोह में भाग लेने और छात्रों को राष्ट्रपति पद की उपाधि प्रदान करने के लिए राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू ने चंद्रयान मिशन के माध्यम से जीवन की सफलताओं के सूत्र उद्घोषणा की। राष्ट्रपति ने कहा कि भारत के चंद्रयान ने चंद्रमा की सतह पर सफल लैंडिंग की। इस पर बर्रों से वफादारी असुरक्षित काम हो रहा है। मार्ग में रुकावतें आती रहीं लेकिन हम नहीं रुके। ऐसा व्यक्तिगत जीवन में भी होता है। सतत् प्रयोगशाला के साथ निरंतर सफलता से बने रहें, लेकिन हमारे जीवन में आते हैं तो नई संभावनाएं भी लाती हैं। उल्लेखनीय है कि राष्ट्रपति ने इस दौरान 2946 छात्र-छात्राओं को डिग्री प्रदान की। समारोह में गवर्नर विश्वभूषण हरिचंदन और मुख्यमंत्री बालाजी ने भी छात्रों को अपमानित किया।

    जय जोहार के साथ अपने सिद्धांत की शुरुआत करते हुए राष्ट्रपति ने अपने उद्बोधन में कहा कि आज हमारा झंडा चांद पर पहुंच गया है। यह ऐतिहासिक उपलब्धि का विषय है। इस उपलब्धि को किस तरह से प्राप्त किया गया। इस संबंध में विश्वविद्यालय में आयोजन होना चाहिए ताकि समाज में वैज्ञानिक दृष्टिकोण यानी साइंटिफिक टेंपर का निर्माण हो सके। इसमें संविधान की मूल भावना शामिल है। मुझे ख़ुशी है कि इस विश्वविद्यालय में आधुनिक गाड़ियाँ हैं। यहां एक्सेल रिटेलर आधारित रिसर्च सेंटर भी स्थापित किया गया है। अपने शोध से यह यूनिवर्सिटी दुनिया में अपनी पहचान बनाए। जो देश विज्ञान और प्रौद्योगिकी के विपरीत रहेगा, वे सबसे ज्यादा जरूरी होंगे। हमारे अंतरिक्ष मिशन में हमें दुनिया से कुछ सहयोग का सामना भी करना पड़ा, फिर भी हम दृढ़ता से आगे बढ़ रहे हैं।

    राष्ट्रपति मुर्मू ने कहा कि इस विश्वविद्यालय का महत्व इसलिए भी है क्योंकि इसका नाम गुरु घासीदास के नाम पर है। उन्होंने मनखे मनखे एक समान का संदेश दिया। गुरु घासीदास ने दिया हेलो का संदेश। हीलाहवाली के आदर्शों पर ही युवा सुख के मार्ग पर चल सकते हैं और सभ्य समाज का निर्माण कर सकते हैं। इस दौरान राष्ट्रपति ने स्वामी विवेकानंद को भी याद किया। उन्होंने कहा कि रायपुर का हवाई अड्डा स्वामी विवेकानंद के नाम पर है। वे शारीरिक स्वास्थ्य के साथ स्टॉक को भी महत्वपूर्ण बताते थे। स्वामी जी की मूर्ति थे। स्वामी जी ने शिकागो में भारतीय संस्कृति की श्रेष्ठता का विश्वघोष किया। उस समय भारत में गुलामी की पहुंच अपनी चरम सीमा पर थी। एशिया के लोग स्थिरता की भावना से प्रभावित थे। ऐसे पर्यावरण में विवेकानंद ने भारत का नाम रेशम रखा। युवा पीढ़ी को स्वामी विश्वनाथ से प्रेरणा लेनी चाहिए।

    राष्ट्रपति ने कहा कि मुझे खुशी है कि स्वर्ण पदक प्राप्त करने वाले 76 छात्रों में 45 लाख हैं जिनकी कुल संख्या लगभग 60 प्रतिशत है। विश्वविद्यालय में 47 प्रतिशत ज़ाख़ी पढ़ रही हैं। महिला सशक्तिकरण की दिशा में यह बड़ा कदम है। देश की आधी आबादी महिलाओं की है। इग्ज़ाम करने से देश और मजबूत होगा। उन्होंने कहा कि विश्वविद्यालय के आसपास के क्षेत्र में जनजातीय समुदाय काफी है। राज्य की एक जनसंख्या जनजातीय है। जन जातीय समुदाय के प्रति संप्रदाय और महिलाओं की भागीदारी जैसा विषय बहुत महत्वपूर्ण है। विश्वविद्यालय की ओर से इस संबंध में अच्छा कार्य किया जा रहा है। राष्ट्रपति ने डिग्री समारोह के अवसर पर उपलब्धि के लिए छात्रों को बधाई दी। साथ ही उन्होंने छात्रों की इस उपलब्धि के लिए उनके निर्माण और विश्वविद्यालय के टीचिंग स्टाफ के योगदान को भी बढ़ावा दिया।

    शिक्षा हमें संस्कारित और अनुशासित बनाती है: गवर्नर हरिचंदन

    इस दौरान आपके अभ्यारण्य में गवर्नर विश्वभूषण हरिचंदन ने छात्रों को बधाई देते हुए कहा कि दीक्षांत समारोह एक गरिमामय समारोह है जो आपकी कड़ी मेहनत को समझाता है और आपके साथ ही एक जिम्मेदारी भी लेकर आता है। आपको जीवन के विभिन्न सिद्धांतों का पता लगाने के साथ-साथ नई चीजें सीखने के कई अवसर मिलेंगे। इस चरण के दौरान आप खरीदारी को आश्वस्त करेंगे और बाजार का विकास करेंगे। शिक्षा हमें संस्कारित तो बनाती है, अनुशासित भी बनाती है। यह हमें समाज में पद, धन और प्रतिष्ठा में भी मदद करता है। जब आप इन शून्य को हासिल कर लेते हैं, तो इसके साथ ही यह एक इंसान के रूप में विकसित होने में भी मदद करता है। इस माशा पर गवर्नर ने स्वतंत्रता संग्राम की विभूतियों के ऐतिहासिक योगदान का स्मरण किया। उन्होंने कहा कि ब्रिटिश सत्ता के खिलाफ कड़ा संघर्ष कर स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों ने हमें आजादी दिलाई है। हमें कठोर परिश्रम कर अपना जीवन हाशिये पर पड़े लोगों के कल्याण के लिए काम करना है। यही सच्ची सेवा है।

    कठोर परिश्रम के बल पर स्वयं को स्वर्ण पदक के लिए उपयुक्त सिद्ध किया गया है: सीएम बघेल

    कार्यक्रम को प्रदर्शित करते हुए मुख्यमंत्री ने कहा कि आप सभी प्रतिभाशाली छात्र-छात्राओं ने स्वयं को डिग्री और स्वर्ण पदक के लिए कठोर परिश्रम मेधा और अनुशासन के बल पर योग्य सिद्ध किया है। यह विश्वविद्यालय सदैव ज्ञान का प्रकाश बना रहता है। हमारा प्रदेश सदैव समृद्ध रहा है। यहां पुरखों के आशीर्वाद से उत्कृष्ट से मानवीय मूल्य पर हमारा प्रदेश आगे बढ़ रहा है। हमारे यहां प्राकृतिक संसाधन हैं, समृद्ध विविधताएं हैं, मिश्रित वन हैं, सुंदर प्रकृति है, सुंदर जनजीवन है, उत्कृष्ट मानव मूल्य हैं। हम बच्चों को लगातार आगे बढ़ाने का काम कर रहे हैं। हम 42 हज़ार रिक्रूटमेंट की भर्ती करते हैं। ग्रामीण औद्योगिक पार्कों के माध्यम से हमारे पास रोजगार, स्व-रोजगार और उद्यम हैं। हम बेरोजगारी भत्ता भी प्रदान कर रहे हैं, ताकि युवाओं को आर्थिक रोजगार मिल सके और वे अच्छे भविष्य की तैयारी कर सकें। मुख्यमंत्री ने इस मौके पर गुरु घासीदास जी का भी स्मरण किया। उन्होंने कहा कि मनखे मनखे एक समान का संदेश देकर उन्होंने समतामूलक समाज के लिए काम किया।

    इस दौरान यूनिवर्सिटी के संरक्षक आलोक कुमार चक्रवाल ने यूनिवर्सिटी का प्रतिवेदन प्रस्तुत किया, जिसमें उन्होंने यूनिवर्सिटी की ओर से विभिन्न प्रतियोगिताओं का आयोजन किया।

    समारोह में विशेष अतिथि के रूप में सेंट्रल ट्राइबल डेवलपमेंट कैथोलिक रेनूका सिंह मौजूद रहे। साथ ही उच्च शिक्षा मंत्री रमेश पटेल, नगर निगम बिलासपुर के महापौर रामशरण यादव, बिलासपुर के विधायक अरुण साव, दुर्ग के विधायक विजय साव, बिलासपुर के विधायक शैलेश पांडे, तख्तपुर के विधायक रशीद आशीष सिंह, बिलासपुर के विधायक धरमलाल कौशिक, बेलतरा के विधायक रामशरण सिंह, राज्य औद्योगिक विकास के अध्यक्ष निगम के अध्यक्ष नंद कुमार साय, छत्तीसगढ़ पर्यटन मंडल अध्यक्ष अटल स्मारक, सहित अनेक स्मारक, वरिष्ठ विश्वविद्यालय अधिकारी बड़ी संख्या में छात्र-प्रतिनिधि शामिल थे।

  • दूसरे राज्य से छत्तीसगढ़ आने वाले समुदाय को नवीन पंजीकरण चिह्न लेना आवश्यक है

    रायपुर। यहां से यहां राज्य में आने वाले सोसाइटी के पता परिवर्तन की सूचना दर्ज करें। छत्तीसगढ़ के लिए नवीन रजिस्ट्रीकरण चिह्न प्राप्त करने के लिए एसोसिएटेड प्रक्रिया को वाहन पोर्टल में शामिल करना अनिवार्य है। अन्य राज्य से एनओसी लेकर आए ऐसे समाज, जिनके पूर्व में परिवहन कार्यालय रायपुर में पता परिवर्तन की सूचना दर्ज कराई गई है, जो कि डूूआ छत्तीसगढ़ राज्य का नवीन पंजीकरण चिह्न प्राप्त नहीं है।

    ऐसे समग्र वाहन स्वामी छत्तीसगढ़ राज्य नवीन पंजीकरण चिह्न प्राप्त करने के लिए वाहन पोर्टल के माध्यम से विहित शुल्क का ऑनलाइन भुगतान आवश्यक दस्तावेज सहित वाहन का भौतिक लाइसेंस लाइसेंस 20 सितंबर 2023 तक क्षेत्रीय परिवहन कार्यालय रायपुर में निर्धारित प्रारूप में आवेदन प्रस्तुत करना सुनिश्चित करें ऐसा करने के लिए प्रस्ताव आवेदन पर अग्रिम कार्यवाही की जा सके। अन्यथा ऐसे में मोटरयान एक्ट एवं पार्टिसिपेंट्स के अंडर सेक्शन की जांच की जाएगी।

    एनआईसीटी द्वारा विकसित वाहन पोर्टल के माध्यम से राज्य में वाहन संबंधी संपूर्ण कार्य की तैयारी जारी है। इसके तहत अन्य राज्यों के समूह को पता परिवर्तन की सूचना दर्ज करने के साथ ही छत्तीसगढ़ राज्य का नवीन रजिस्ट्रीकरण चिह्न जारी हो रहे हैं। औद्योगिक राज्य में वाहन पोर्टल लागू होने से पहले अन्य राज्य से आने वाली सोसायटी का एकमात्र पता परिवर्तन की सूचना दर्ज की गई है, जिसमें विभिन्न सोसायटी की छत्तीसगढ़ राज्य के लिए नवीन रजिस्ट्रीकरण चिह्न प्राप्त नहीं हुआ है।

    परिवहन मुख्यालय से अन्य राज्यों के वाहनों के बारे में जानकारी प्राप्त करने के लिए पूर्व कार्यालय में परिवर्तन की जानकारी ली गई है, जिसके अनुसार मध्य प्रदेश, छत्तीसगढ़ राज्य का नवीन पंजीकरण चिन्ह समनुदेशित नहीं किया गया है, ऐसे सम्मिलन का सम्मिलन मोटरयान नियम, 1989 के नियम 54 तथा छत्तीसगढ़ मोटर वाहन नियम, 1994 के नियम 55 के अनुसार छत्तीसगढ़ राज्य के लिए नवीन रजिस्ट्रीकरण चिन्ह समनुदेशित करने की कार्यवाही की जानी है।

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  • भाजपा के आरोप पत्र से पहले कांग्रेस ने जारी किया बीजेपी का काला चिट्ठा

    रायपुर। छत्तीसगढ़ कांग्रेस प्रभारी कुमारी सैलजा ने पत्रकार वार्ता को संबोधित करते हुये कहा कि आज हम छत्तीसगढ़ की कांग्रेस पार्टी की ओर से भारतीय जनता पार्टी के करतूतों का कुशासन का उनकी केंद्र की मोदी सरकार की वायदा खिलाफी, भ्रष्टाचार, कुशासन और छत्तीसगढ़ में 15 साल तक भाजपा की सरकार थी, 15 साल के भाजपा के शासन का दौर छत्तीसगढ़ के लिये काला अध्याय था। भाजपा के जन विरोधी आचरण के खिलाफ भाजपा का काला चिट्ठा जारी कर रहे है। इसमें 9 साल की मोदी सरकार की वायदा खिलाफी, 15 साल के रमन राज में छत्तीसगढ़ का शोषण, भ्रष्टाचार वायदा खिलाफी, भाजपा का चरित्र आदिवासी विरोधी अनुसूचित जाति विरोधी चेहरे को उजागर किया गया है। इसमें हमारे द्वारा प्रस्तुत भाजपा के काला चिट्ठा में कुल 212 बिंदु है।

    भाजपा के काला चिट्ठा में कुल बिंदु

    • मोदी सरकार का काला चिट्ठा-85 बिंदु
    • मोदी के कुशासन जनविरोधी फैसले – 26 बिन्दु
    • रमन उनके मंत्री मंडली सहयोगियों के घोटाले-34 बिंदु
    • रमन राज के 15 साल में छत्तीसगढ़ शोषण -54 बिंदु
    • भाजपा का आदिवासी विरोधी चरित्र-8 बिंदु
    • भाजपा किसान विरोधी – 4 बिंदु
    • भाजपा चरित्र आदिवासी, अनुसूचित जाति, जनजाति, पिछड़ा वर्ग एवं गरीब विरोधी-1 बिंदु

    उन्होंने कहा कि देश में महंगाई चरम पर है केंद्र सरकार मुनाफाखोर बनी हुई है। पांच राज्यों के चुनाव सिर पर देख कर रसोई गैस के दामों में 200 रू. कटौती की गयी, 400 का सिलेंडर तीन गुना 1200 कर दिया, अब 200 की कटौती कर घड़ियाली आंसू बहा रहे है। डीजल, पेट्रोल, राशन सामाग्री सभी के दाम बेतहाशा बढ़ गये है। आम आदमी के घर का बजट बढ़ गया। मोदी जुमलों पर सरकार चला रहे है। कल्पनाओं में और बयानों में खुद को सबसे ईमानदार बताते है न खाऊंगा न खाने दूंगा का नारा देते है लेकिन अडानी के घोटालों पर मौन साध लेते है, संसद में जवाब नहीं देते है।

    विपक्षी दलों के सरकारों के खिलाफ ईडी, आईटी, सीबीआई की जांच करवाते है, धमकियां दी जाती है। गलत कार्यवाहियां करवाई जाती है, केंद्र सरकार के खिलाफ अमित शाह के गृह मंत्रालय के खिलाफ 1.25 लाख शिकायतें लंबित है उसकी जांच क्यों नहीं करवाई जाती, सारी कार्यवाही गैर भाजपा शासित राज्यों के खिलाफ ही क्यों? प्रधानमंत्री जवाब दें जिन नेताओं के खिलाफ भाजपा भ्रष्टाचार के आरोप लगाती है जब वे भाजपा प्रवेश कर लेते है तो उनके खिलाफ जांच एजेंसियों की कार्यवाही बंद क्यों हो जाती है?

    मोदी के कुशासन एवं जन विरोधी फैसले

    1. देश के 14 प्रधानमंत्रियों के कुल मिलाकर 67 साल में कुल 55 लाख करोड़ कर्ज लिया था। पिछले 9 साल में नरेन्द्र मोदी ने देश पर कर्जा 3 गुना कर दिया। 100 लाख करोड़ से ज्यादा कर्ज केवल मोदी ने लिया है। 2014 में देश पर कुल कर्ज 55 लाख करोड़ था जो अब बढ़कर 155 लाख करोड़ से अधिक हो गया है।

    2. डीजल पर सेंट्रल एक्साइज 2014 में 3.54 पैसा था जिसे मोदी सरकार ने बढ़ाकर 31 रू. तक पहुंचा दिया। 410 का सिलेंडर 1100 के पार केवल पेट्रोलियम उत्पाद से 30 लाख करोड़ से अधिक अतिरिक्त मुनाफाखोरी। केंद्र की मोदी सरकार ने पेट्रोल और डीजल पर सेंट्रल एक्साइज के रूप में देश की आम जनता की जेब से 30 लाख करोड़ की डकैती की।

    3. रूपये का सर्वाधिक अमूल्यन मोदी राज में हुआ। एक डॉलर की कीमत 2014 में 59 रू. थी जो आज बढ़कर 83 रू. हो गया है। अर्थात 41 प्रतिशत अमूल्यन केवल मोदी राज में। मोदी जी कहते थे रुपये का मूल्य जितना गिरता है उतना केंद्र की सरकार भ्रष्ट होती है।

    4. चंद पूंजीपति मित्रों के 18 लाख करोड़ से अधिक का लोन राईट ऑफ कर दिये लेकिन किसानों को स्वामीनाथन आयोग की सिफारिश के अनुसार सी-2 फार्मूले पर 50 प्रतिशत लाभ का वादा करके भूल गये।

    5. सेंट्रल एक्साइज जैसे केंद्रीय करो में कमी कर उसी अनुपात में सेस लगाया ताकि राज्यों को उसका हिस्सा न देना पड़े मोदी सरकार की नीतियां सहकारी संघवाद और राज्यों के आर्थिक हितों के खिलाफ।

    6. अडानी की कंपनी ने लगाये गये फर्जी सेल कंपनियों के 20 हजार करोड़ किसके है?

    7. किसके दबाव में कंपनी एलआईसी और एसबीआई का पैसा अडानी की डूबती कंपनी में लगाया।

    8. तमाम केंद्रीय योजनाओं में केंद्रांश कम करके राज्यांश बढ़ाया अर्थात राज्यों में अतिरिक्त आर्थिक बोझ डाला गया।

    9. छत्तीसगढ़ उत्पादक राज्य है। जीएसटी लागू होने के बाद उत्पादक राज्यों को होने वाली क्षतिपूर्ति की भरपाई 30 जून 2022 से बंद कर दी गयी। लेकिन क्षतिपूर्ति की भरपाई के लिये वसूला जाने वाला जीएसटी क्षतिपूर्ति सेस मोदी सरकार 31 मार्च 2026 तक वसूलेगी। उत्पादक राज्यों की उपेक्षा क्यों?

    10. केंद्र की मोदी सरकार ने पहले नोटबंदी फिर गब्बर सिंह टैक्स (जीएसटी) फिर कोविड मिस मैनेजमेंट से पूरे देश की अर्थव्यवस्था का बंटाधार कर दिया।

    11. केंद्र की मोदी सरकार ने अपने पूंजीपति मित्रों को फायदा पहुंचाने के लिये देश के अन्नदाता किसानों पर कृषि के 3 काले कानूनों को थोपने का प्रयास किया। देश के किसान 1 साल से ज्यादा समय तक सड़कों पर आंदोलन करते रहे, कभी उन्हें अरबन नक्सली, आतंकवादी और पाकिस्तानी जैसे शब्दों से संबोधित कर अपमान किया गया। जब देश के 750 किसान परिवारों ने अपने परिवार के 1 सदस्य को खोया तब जाकर केंद्र की मोदी सरकार नींद से जागी।

    12. वन अधिकार अधिनियम के प्रावधानों को शिथिल कर आदिवासियों को जल, जंगल, जमीन से वंचित करने केंद्र की मोदी सरकार षड़यंत्र रच रही है।

    13. केंद्र सरकार की गलत आर्थिक नीतियों के कारण भारत देश भूखमरी इंडेक्स में पाकिस्तान, बांग्लादेश, श्रीलंका से भी पिछड़ चुका है। महंगाई, बेरोजगारी और आर्थिक असमानता शिखर पर पहुंच चुका है।

    14. यूपीए सरकार में देश के 27 करोड़ लोग गरीबी रेखा से ऊपर आये। जबकि केंद्र की मोदी सरकार की गलत आर्थिक नीतियों के कारण 23 करोड़ लोग मध्यम वर्ग से गरीबी रेखा के नीचे चले गये।

    15. दैनिक उपभोग की वस्तुओं को जीएसटी के दायरे में लाकर आम जनता से बेरहमी से कर वसूली करके कुल कर संग्रहण तो 3 गुना बढ़ा लिये लेकिन उसका लाभ और सुविधायें न राज्यों को, न ही आम जनता को।

    16. 10 दिन के भीतर अडानी की कंपनियों में निवेशकों के 15 लाख करोड़ की अधिक की राशि कैसे लूट गये? किसके संरक्षण में अडानी की कंपनियों एसेट बढ़ाकर बताये गये।

    17. अपने पूंजीपतियों मित्रों के लाभ के लिये पहली बार देश में कमर्शियल माइनिंग मोदी सरकार ने प्रारंभ किया। कोल इंडिया लिमिटेड और एसईसीएल जैसे सरकारी कंपनियों और नवरत्न कंपनियों में खनन का काम अडानी को किसके दबाव में दिया गया।

    18. भूपेश सरकार ने 27 जुलाई 2022 को हसदेव अरण्य के पांच कोल ब्लॉक आवंटन निरस्त करने विधानसभा में प्रस्ताव पारित कर केंद्र की मोदी सरकार को भेजा है। विगत एक वर्ष से मोदी सरकार खामोश क्यों है?

    19. यूपीए के समय तत्कालीन वन एवं पर्यावरण मंत्री जयराम रमेश ने छत्तीसगढ़ के हसदेव अरण्य और तमोर पिंगला को अति जैव विविधता महत्वपूर्ण क्षेत्र मानते हुये नो गो एरिया घोषित कर खनन गतिविधियां प्रतिबंधित की गयी थी। जिसे मोदी सरकार ने संकुचित कर माइनिंग शुरू कराया।

    20. कोरोना महामारी के समय अपने पूंजीपतियों को लाभ पहुंचाने श्रम विरोधी दर्जनों कानून सदन में बिना चर्चा के ही पारित कर दिये।

    21.  2 दिसंबर 2022 से 76 प्रतिशत आरक्षण विधेयक विधानसभा में सर्वसम्मति से पारित कर राजभवन भेजा गया है, 9 माह से आखिर किसके इशारे पर और किसके दबाव में रोका गया है?

    22. सीएजी की रिपोर्ट के अनुसार द्वारका एक्सप्रेसवे 18 करोड़ रुपये प्रति किमी की लागत से बनना था, लेकिन मोदी सरकार ने इसकी लागत बढ़ाकर 250 करोड़ रुपये प्रति किमी कर दी।

    23. भारत माला प्रोजेक्ट के तहत 75 हजार किमी सड़क बन रही है। ये सड़क 15 करोड़ प्रति किमी की लागत से बननी थी,लेकिन मोदी सरकार ने लागत 15 से 25 करोड़ रुपये प्रति किमी बढ़ाकर 7.5 लाख करोड़ रुपये का घोटाला किया और अधिकांश काम अडाणी की कंपनियों को दे दिया।

    24. जनवरी 2015 से मार्च 2022 के बीच स्वदेश दर्शन योजना का ऑडिट किया था, जिसकी रिपोर्ट बुधवार को संसद में पेश की गई और कहा गया कि छह राज्यों की छह परियोजनाओं में ठेकेदारों को 19.73 करोड रुपये का गलत तरीके से लाभ दिया गया। अयोध्या स्वदेश दर्शन योजना के तहत रामायण सर्किट का हिस्सा है। इसके लिए 27 सितंबर 2017 को 127 करोड़ 21 लाख का बजट मंजूर हुआ था। इसमें से 115 करोड़ रुपये अभी तक जारी किए जा चुके हैं।

    25. एनएमडीसी द्वारा निर्मित नगरनार स्टील प्लांट जिससे बस्तर के लोगों की सीधी भावनायें जुड़ी हुई है उसे केंद्र सरकार अपने मित्र अडानी को सौप कर निजीकरण करने की साजिश कर रही है। इसके अलावा एसईसीएल की 80 प्रतिशत से अधिक खदानों को पूंजीपति मित्र अडानी को सौपने की पूरी तैयारी कर चुकी है।

    26. छत्तीसगढ़ में केंद्र की मोदी सरकार अपने मुनाफे और पूंजीपति मित्रों को फायदा पहुंचाने के लिये यात्री ट्रेनों के बजाय कोयले परिवहन को प्राथमिकता देते हुये लगातार बिना किसी पूर्व सूचना और वैकल्पिक व्यवस्था के ट्रेनों को लगातार रद्द कर रही है। भाजपा के नौ लोकसभा सांसद केंद्र की मोदी सरकार के सामने छत्तीसगढ़ की हकों की बात करने में पूरी तरह असमर्थ है।

    इस दौरान प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष एवं सांसद दीपक बैज ने कहा कि भाजपा ने 15 साल में छत्तीसगढ़ का शोषण किया। आदिवासी, किसान, मजदूर, युवा, महिलाएं सभी असुरक्षित थी। किसानों को उनकी उपज की पूरी कीमत नहीं मिलती थी। आदिवासी असुरक्षित थे। नक्सलवादी गतिविधियां जोरों पर थी। महिलायें, बच्चियां असुरक्षित, झलियामारी और आमाडोला जैसी घटनाएं प्रदेश की पहचान बन गयी थी। नान घोटाला, चिटफंड घोटाला, ओडीएफ घोटाला, पनामा पेपर, डीकेएस जैसे घोटालों से प्रदेश की छवि खराब हुई थी। भाजपा की मोदी सरकार वादाखिलाफी का पर्याय बन गयी है। किसानों, युवाओं, गृहणियों किसी से किया वादा मोदी ने पूरा नहीं किया।

    भाजपा आदिवासी, अनुसूचित जाति, जनजाति, पिछड़ा वर्ग गरीब विरोधी

    कांग्रेस सरकार ने राज्य के हर वर्ग के लोगों को उनका अधिकार देने विधानसभा में सर्वसम्मति से आरक्षण संशोधन विधेयक पारित करवा कर राजभवन भेजा है। भाजपा ने षड़यंत्रपूर्वक उस विधेयक को राजभवन में रोके रखा है। विधेयक में अनुसूचित जनजाति के लिये 32 प्रतिशत, अनुसूचित जाति के लिये 13 प्रतिशत तथा अन्य पिछड़ा वर्ग के लिये 27 प्रतिशत आरक्षण का प्रावधान है। आर्थिक रूप से कमजोर सामान्य वर्ग के लोगो को भी 4 प्रतिशत आरक्षण का प्रावधान किया गया है। 76 प्रतिशत का आरक्षण सभी वर्गो की आबादी के अनुसार निर्णय लिया है। यह विधेयक यदि कानून का रूप लेगा तो हर वर्ग के लोग संतुष्ट होंगे।

    भाजपा का छत्तीसगढ़ के लोगो को फिर से ठगने का षडयंत्र मात्र

    1. केन्द्र में मई 2014 में भाजपा की सरकार बनी। वर्ष 2013 में भाजपा ने किसानों से धान खरीदी पर 300 रुपये प्रति क्विंटल बोनस देने का वादा किया था किन्तु जून 2014 में मोदी सरकार ने धान खरीदी पर बोनस दिए जाने पर प्रतिबंध लगाया। 2100 रू. प्रति क्विंटल की दर से धान खरीदी का प्रस्ताव ठुकराया। राज्य की लाचार भाजपा सरकार न चाहते हुये भी कुछ न कर सकी। राज्य की जनता से विश्वासघात किया।

    2. 2013 में किसानों से धान का एक-एक दाना खरीदने का वादा करने के बाद खरीफ विपणन वर्ष 2014-15 में किसानों से धान खरीदी की अधिकतम सीमा प्रति एकड़ 10 क्विंटल निर्धारित की गयी। कांग्रेस के उग्र विरोध के बाद उसे प्रति एकड़ 15 क्विंटल किया गया।

    3. रमन सरकार के 15 वर्षों के कार्यकाल में सबसे अधिक धान 2013-14 में खरीदा गया, 80 लाख टन। तब केंद्र में मनमोहन सिंह की सरकार थी। 2014 में मोदी सरकार आने के बाद राज्य में 2018 तक प्रतिवर्ष मात्र 63 लाख टन, 59.29 लाख टन, 69.59 लाख टन तथा 56.89 लाख टन धान खरीदा गया। डबल इंजन सरकार में धान खरीदी इतनी कम क्यों? मोदी ने रमन सिंह को पैसे क्यों नही दिए?

    4. सभी केंद्र प्रवर्तित योजनाओं में केन्द्रांश कम होता गया, राज्य पर अतिरिक्त वित्तीय भार बढ़ता रहा। राज्य के मुख्यमंत्री एवं अन्य भाजपा नेता कुछ न कर सके।

    वर्ष 2014 में केंद्र में भाजपा सरकार बनने के बाद अनेक महत्वपूर्ण केंद्र प्रवर्तित योजनाओं में केंद्रान्श कम कर के राज्यांश की राशि बढ़ा दी गयी, जिससे राज्यों के वित्तीय भार में वृद्धि हुई।

    क्र. योजना का नाम वर्ष 2013-14 तक के केंद्रांश और राज्यांश का प्रतिशत वर्ष 2014-15 तक के केंद्रांश और राज्यांश का प्रतिशत
    केन्द्रांश : राज्यांश केन्द्रांश : राज्यांश
    1 राष्ट्रीय स्वास्थ्य मिशन 75 : 25 60 : 40
    2 सर्व शिक्षा अभियान 75 : 25 60 : 40
    3 मध्यान्ह भोजन कार्यक्रम 65 : 35 60 : 40
    4 प्रधानमंत्री ग्रामीण सड़क योजना 100 : 00 60 : 40
    5 नरेगा 90 : 10 75 : 25
    6 राष्ट्रीय ग्रामीण पेयजल कार्यक्रम 75 : 25 50 : 50
    7 राष्ट्रीय उच्चतर शिक्षा अभियान 65 : 35 60 : 40
    8 एकीकृत बाल विकास योजना 85 : 15 57 : 43

    5. वर्ष 2017 में राज्य के हितों के विपरीत जी.एस.टी. की व्यवस्था लागू की गयी। जिसमें छत्तीसगढ़ राज्य को वर्ष 2022 के बाद प्रतिवर्ष हजारों करोड़ का नुकसान होना तय था। राज्य के भाजपा नेता केंद्र सरकार के दबाव के सामने लाचार थे. तथा राज्य की जनता के साथ हो रहे ऐतिहासिक अन्याय का जरा भी विरोध न कर सके। राज्य की जनता कभी भी भाजपा द्वारा किये गये अन्याय को माफ नहीं करेगी। वर्ष 2023-24 से छत्तीसगढ़ को 7,000 करोड़ से अधिक क्षति होना निश्चित हैं।

    6. चिटफंड कंपनियां राज्य के लाखों गरीब परिवारों की खून पसीने की कमाई लेकर चंपत हो गयी। केंद्र एवं राज्य सरकार के संरक्षण में उन कंपनियों के विरुद्ध कोई कार्यवाही नहीं की गयी।

    7. कोयला रॉयल्टी की बकाया 4,400 करोड़ की राशि रमन राज में केंद्र ने रोकी।

    8. सितंबर 2018 की रिजर्व बैंक ऑफ इन्डिया की रिपोर्ट के अनुसार देश में सर्वाधिक गरीबों का प्रतिशत छत्तीसगढ़ में मोदी और रमन ने जमकर लूटा ।

    9. देश के सर्वाधिक 100 पिछड़े जिलों में 10 जिले छत्तीसगढ़ में उनमें रमन सिंह का जिला राजनांदगांव भी शामिल।

    10. किसानों की ऋण माफी की भाजपा एवं राज्य की केंद्र सरकार विरोधी। किसान कर्ज में भूले।

    11. रमन परिवार की संपत्ति 2008 से 2018 के बीच 15 गुना बढ़ी।

    12. नक्सल समस्या चरम पर आदिवासियों की फर्जी एनकाउंटर के नाम पर हत्या। सैकड़ों निर्दोष आदिवासियों को नक्सली होने के नाम पर जेल में ठूसा गया।

    13. अडानी को अनेक कोयला एवं आयरन और ब्लॉक बिना किसी लागत लगाये सौंपे गये।

    14. आदिवासियों की 1 लाख एकड़ भूमि जबरन अधिग्रहित । आदिवासी दर-दर भटकने हेतु मजबूर।

    15. 15 आदिवासी लघु वनोपज बिचौलियों को बेचने हेतु विवश एम.एस.पी. पर क्रय की कोई व्यवस्था नहीं।

    16. राम वन गमन पथ, माता कौशल्या की जन्मभूमि, रामायण मंडलियां, छत्तीसगढ़ी संस्कृति – घोर उपेक्षा। क्योंकि असली सत्ता राज्य के बाहर के लोगों के हाथ में थी। जिन्हें छत्तीसगढ़ की संस्कृति से कोई लगाव नहीं था।

    17. बेरोजगारों को बेरोजगारी भत्ता देने का वादा करके उनसे विश्वासघात ।

    18. मोदी सरकार ने नंदराज पर्वत को अडानी को सौंपने का षड्यंत्र कर रही है।

    19. छत्तीसगढ़ को रमन सिंह सरकार के समय ओडीएफ राज्य घोषित कर दिया गया था। लेकिन राज्य की 24 प्रतिशत आबादी खुले में शौच को जाती है। इस तरह छत्तीसगढ़ में पूर्ण ओडीएफ घोषित कर 1500 करोड़ का घोटाला किया गया।

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  • राहुल गांधी के स्वागत में शर्मा के साथ कांग्रेस में प्रवेश को लेकर ताजपोशी

    रायपुर। वायनाड सांसद और पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष राहुल गांधी शनिवार को रायपुर में हैं। इस दौरान राहुल गांधी नवा रायपुर में युवा संवाद को लेकर चर्चा करेंगे। इस बीच राहुल गांधी की मौजूदगी में बलौदा बाजार के जेसीसी के अध्यक्ष राम गोपाल शर्मा समेत जोगी कांग्रेस के कई दल कांग्रेस में प्रवेश ले सकते हैं।

    बता दें शुक्रवार को महासमुंद जिले के सरायपाली विधानसभा क्षेत्र से भाजपा के पूर्व नेता श्याम तांडी ने अपने सैकड़ों कार्यकर्ताओं के साथ कांग्रेस में प्रवेश किया। मुख्यमंत्री सचिवालय सभी को कांग्रेस की संस्था।

    बता दें कि बलौदा बाजार के प्रमुख आमिर शर्मा के कांग्रेस प्रवेश को लेकर पहले ही अटकले आ रहे हैं। हालाँकि उनका ये भी कहना है कि सब मीडिया में चल रहा है। मेरे दार्शनिक के साथ तिलदा और सुहेला में बैठक हुई है और तीसरी बैठक बलौदा बाजार में है, जिसके बाद निर्णय होगा।

    बता दें कि हाल ही में पीसीसी अध्यक्ष दीपक बैज ने बलौदा बाजार के दौरे पर आकर प्रमुख आमिर शर्मा के कांग्रेस प्रवेश को लेकर पार्टी के नेताओं से चर्चा की थी। जिसके बाद से ही गोदी के गोदाम से खबर आ रही है कि राहुल गांधी की अगवानी में राहुल गांधी की एंट्री का ऐलान किया जा सकता है। बताया जा रहा है कि उनके साथ सैकड़ों की संख्या में जोगी कांग्रेस के कार्यकर्ता भी कांग्रेस में शामिल हो सकते हैं।

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  • बीजेपी को बड़ा झटका, टिकट न मिलने से नाराज ये नेता कांग्रेस में शामिल

    रायपुर। विधानसभा चुनाव को लेकर छत्तीसगढ़ की राजनीतिक गलियारों में काफी राजनीतिक हलचल मची हुई है। इस बीच खबर आ रही है कि टिकट के ना मिलने से नाराज बीजेपी के पूर्व नेता कांग्रेस में शामिल हो गए हैं।

    बता दें कि यह बड़ी झटका पार्टी को वह वक्ता लगा है जब केंद्रीय अमित शाह छत्तीसगढ़ के दौरे पर आ रहे हैं। बता दें कि भारतीय जनता पार्टी ने छत्तीसगढ़ चुनाव के लिए हाल ही में 21 रिकॉर्ड्स की लिस्ट जारी की थी। जिसमें सरला कोसरिया को सरायपाली विधानसभा से टिकट दिया गया है। तब से श्याम टांडी पार्टी से नाराज चल रहे हैं।

    गैंडा समाज को टिकटें नहीं मिलने पर श्याम तांडी ने अपने भाई-बहन के साथ अपने पद से भी छुट्टी दे दी।

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  • अवैध रूप से संचालित एवं चोरी का सामान खपाने वाले 44 जुगाड़ू डिपो सील

    भिलाई। पुलिस ने 14 स्टेशनों के नेतत्व में जगह सौ से अधिक किले के साथ नगर के 44 कबाडों के पोर्टफोलियो में यहां छाप मार्का बड़ी मात्रा में अवैध कबाड़ को जब्त कर नामी कबाड़ी को जब्त कर लिया गया, ललित, शाकिर, पाल जंकुआरी, इंदौर मंडले सहित कलाकारों ने कबाडियों के पोर्टफोलियो को सील कर दिया। कर दी है. पुलिस अधीक्षक दुर्ग शलभ सिन्हा को आम जनता एवं विभिन्न औद्योगिक एनसीएलएरी एसोसिएसन के ‍नियंत्रित से लगातार अवैध रूप से अवैध बैंकिंग के व्यापार के संबंध में रिकॉर्ड्स प्राप्त हो रही थी।

    प्रतिपक्ष को सर्वश्रेष्ठ नामांकित से लिया गया जहां उनके द्वारा पूर्व में भी सेक्स किया गया था। उपर्युक्त पर सोवियत संघ के अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक (शहर) संजय ध्रुव (रा.पु.से.), के निर्देशन में राजपत्रित अधिकारियों के साथ ए.सी.यू. प्रभारी एवं जिले के समस्त शहरी थानो पर प्राप्त होने वाले निर्देश के अधिकारी एवं कर्मचारी जिनमें करीब 22 टीम चित्र 14 पर्यवेक्षक, 20 उप-दर्शक, 25 सहायक उप-दर्शक एवं 80 से अधिक प्रधान रक्षक एवं रक्षकों की संयुक्त टीम संगीत कर टीम को शामिल किया गया है। हमले के दौरान पुलिस को जहां से अलग-अलग कल के टुकड़ों में भारी मात्रा में लोहे के अवैध बैगों को मिलाकर उनके अलग-अलग कर भंडारन कर रखे गए, सेंटरिंग प्लेट, बीएसपी का सरिया, लोहा, ऐंगल, कुछ कवाडियों के यहां से औद्योगिक स्क्रिब भी बरामद हुए।

    44 स्टार्टअप्स पर एक साथ स्टार्टअप दिया गया

    उक्त अधिकारी/कर्मचारियों की योजना अलग-अलग 35 वर्ष की आयु में विभक्त कर पूर्व में सूचीबद्ध जिले के शहरी थाना क्षेत्रांतर्गत अवैध बेरोजगारों के सहयोगियों के अवलोकन पर वरिष्ठ अधिकारियों के मार्गदर्शन में रेड कार्यवाही भेजी गई। जिसके परिणाम स्वरूप जिले के शहरी क्षेत्र के कुल 44 कबा प्लाटों पर एक साथ मसाले दिए गए, जहां अलग-अलग हिस्सों में भारी मात्रा में लोहे के अवैध खिलाड़ियों ने अपने कल्पुरजो को अलग कर भंडारन कर के रखा, सेंटरिंग प्लेट, बीएसपी का सरिया, लोहा, ऐंगल, कुछ कावड़ियों के यहाँ से औद्योगिक शिलालेख भी बरामद हुए।

    यहां कावड़ियों के औद्योगिक स्क्रिब भी बरामद हुए

    जामुल थाने में वृद्धाश्रम मंडले की दुकान से 1 ट्रक ट्रैक्टर जप्त कर वृद्धाश्रम मंडले को कब्जे में ले लिया गया। टीम द्वारा अवैध रूप से ही जुएगर के ऑपरेशंस ऑपरेशंस पर नोटिस जारी किया गया। जिसमें धारा 41 (1+4) की धारा 41 (1+4) शामिल है। एवं अन्य उद्यमों को सील कर दिया गया है। 15 लोगो को रजिस्ट्रेशन में लिया गया, शेष के स्टॉक की खोज जारी है, बाकी किताबों का पता जारी है। जिले के ग़ैरगी फ़्लोरिडा जिसमें शामिल हैं, ललित, शाकिर, पाल ज़ुर्गी, वृहस्पति मंडली के मंडली कबाड़खानों को सील कर दिया गया, सील करने के बाद सभी अवैध आतंकवादी संगठनों को प्रतिबंधित किया जा रहा है।

  • मिशन 2023: 2 सितंबर को बीजेपी-कांग्रेस के गठबंधन का दावा

    रायपुर। मिशन 2023: राष्ट्रीय केंद्रीय अमित शाह और कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी दो सितंबर को एक राजधानी के साथ रायपुर में सभा करेंगे। कांग्रेस सरकार के खिलाफ आरोप पत्र जारी करेंगे शाह राजपूत के आदर्श कैथोलिक एडिटोरियम। वहीं, राहुल गांधी रायपुर के नए मेले में युवा संवाद कार्यक्रम भी शामिल होंगे।

    मिशन 2023: राहुल गांधी युवाओं से संवाद करेंगे

    राहुल गांधी प्रदेशभर के युवाओं से संवाद करेंगे। युवाओं से लेकर सरगुजा तक युवाओं को नवा रायपुर लाने के लिए कांग्रेस संगठन ने तैयारी की है। युवाओं की बड़ी संख्या को देखते हुए नवा रायपुर के मेला मैदान में तैयारी की गई है। प्रदेश अध्यक्ष की कमान के बाद दीपक बाजा के नेतृत्व में राहुल गांधी का पहला कार्यक्रम होने जा रहा है।

    मिशन 2023: 70 दिन की चौथी बार शाह का छत्तीसगढ़ दौरा

    बता दें कि 70 दिनों के भीतर चौथी बार शुक्रवार को केंद्रीय अमित शाह दो दिवसीय दौरे पर छत्तीसगढ़ आ रहे हैं। शाह अपने साथ कांग्रेस सरकार को घेरने के लिए आरोप पत्र लेकर आये।

    मिशन 2023: पार्टी के कागजात की माने तो आरोप पत्र को तीन स्कॉटलैंड में रखा गया है। इसमें कांग्रेस सरकार के वादे, असफलता और वादेखिलाफी शामिल हैं। आरोप पत्र समिति ने एक महीने पहले शाह को शिकायत का पुलिंदा दे दिया था। शाह की टीम ने इसे दिल्ली में छापा है और इसमें विश्वास रखा है।

  • गुरु घासीदास केंद्रीय विश्वविद्यालय का दसवां दीक्षांत समारोह कल, राष्ट्रपति

    रायपुर। गुरु घासीदास सेंट्रल यूनिवर्सिटी का दसवां महोत्सव महोत्सव 1 सितंबर शुक्रवार को आयोजित किया जा रहा है। जिसमें राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू मुख्य अतिथि के रूप में शामिल होंगी। इस कार्यक्रम में गवर्नर विश्व रत्न हरिचंदन और मुख्यमंत्री चंबा भी शामिल होंगे। राष्ट्रपति के दौरे को लेकर विश्वविद्यालय और जिला प्रशासन की तैयारी में प्रौद्योगिकी हुई है।

    दीक्षांत समारोह को लेकर 7 स्वागत द्वार बनाए गए हैं, दीक्षांत समारोह में राष्ट्रपति के हाथों समारोह में 28 शोधार्थियों को स्नातक की उपाधि और 76 विद्यार्थियों को स्वर्ण पदक दिया गया। समारोह में सत्र 2021-22 की विभिन्न परीक्षाओं में 2897 छात्र-छात्राओं को डिग्री तक जाने की घोषणा की जाएगी। वहीं प्राविण्य सूची में प्रथम स्थान प्राप्त करने वाले 72 छात्रों को विश्वविद्यालय स्वर्ण पदक, 10 दानदाता पदक, एक गुरु घासीदास पदक और एक कुलाधिपति पदक सहित 84 पदक प्रदान किये जायेंगे। 28 शोधार्थियों को एचडी के डिग्री प्रदान की जाएगी।

    उदाहरण के तौर पर मिल रहा है गोल्ड मेडल

    01 प्रज्ञा सिंह एमए-हिन्दी-2022 विश्व विद्यालय पदक
    02 अंकिता प्रसाद एमए – अंग्रेजी-2022 विश्व विद्यालय पदक
    03 अपर्णानिर्मलकर एमए – जेएमसी-2022 विश्व विद्यालय पदक
    04 अनिल कांत साहू एम. लिब. एवं आई. एससी.-2022 विश्व विद्यालय पदक
    05 पूजापटनवार बी.लिब. एवं आई. एससी.-2022 विश्व विद्यालय पदक
    06 अंकित राज बीए (ऑनर्स)- जेएमसी-2022 विश्व विद्यालय पदक
    07 पायलचतुर्वेदी बीए (ऑनर्स) – हिंदी-2022 विश्व विद्यालय पदक
    08 ऐश्वर्यावेदुला बीए (ऑनर्स)- अंग्रेजी-2022 विश्व विद्यालय पदक
    09 धनञ्जयकैवर्त एमए- अर्थशास्त्र -2022 विश्व विद्यालय पदक
    10 यामिनी सिंह एमए-अर्थशास्त्र -2022 विश्व विद्यालय पदक
    11 भोलासाहू एमए-राजनीतिक विज्ञान. -2022 विश्व विद्यालय पदक
    12 अंकितनारंग एमए – इतिहास -2022 विश्व विद्यालय पदक
    13 सूरज कुमार महतो एमए – इतिहास -2022 विश्व विद्यालय पदक
    14 अनामिका साहू एमएसडब्ल्यू -2022 विश्व विद्यालय पदक
    15 रश्मीत कौर गुंबर बीए (ऑनर्स)-अर्थशास्त्र -2022 विश्व विद्यालय पदक
    16 मेधा शर्मा बीए (ऑनर्स) – राजनीतिक विज्ञान। -2022 विश्व विद्यालय पदक
    17 प्रभावदुबे बीए (ऑनर्स)-इतिहास -2022 विश्व विद्यालय पदक
    18 लोकेशहरिदासचांदे बीएसडब्ल्यू -2022 विश्व विद्यालय पदक
    19 सुषमा चौहान एम.एससी.-भौतिकी -2022 विश्व विद्यालय पदक
    20 अमीषा साहू एमएससी -रसायन विज्ञान -2022 विश्व विद्यालय पदक
    21 शारदा कटैलिहा एम.एससी.- इलेक्ट्रॉनिक्स -2022 विश्व विद्यालय पदक
    22 श्रद्धा तिवारी बीएससी (ऑनर्स)-भौतिकी -2022 विश्व विद्यालय पदक
    23 अनिमेष बाजपेयी बीएससी (ऑनर्स)-रसायन विज्ञान -2022 विश्व विद्यालय पदक
    24 सुबोधदेवांगन बीएससी (ऑनर्स)-इलेक्ट्रॉनिक्स -2022 विश्व विद्यालय पदक
    25 ममताकौशिक एमएससी – अंक शास्त्र -2022 विश्व विद्यालय पदक
    26 स्वप्निल कुमार साहू एम.एससी.- कंप्यूटर एससी. -2022 विश्व विद्यालय पदक
    27 पंकज आर्य बीएससी (ऑनर्स)-गणित -2022 विश्व विद्यालय पदक गुरु घासीदास स्वर्ण पदक
    28 आयुषी रस्तोगी बी.एससी.(ऑनर्स)-कंप्यूटरएससी. -2022 विश्व विद्यालय पदक
    29 अदिति थवैत एमसीए -2022 विश्व विद्यालय पदक
    30 प्रज्ज्वल मिश्रा एमसीए -2022 विश्व विद्यालय पदक
    31 सुमनवर्मा एम.कॉम.-2022 विश्व विद्यालय पदक
    32 कृति सिंह एमबीए-2022 विश्व विद्यालय पदक
    33 घनश्‍यामसतनामी बी.कॉम. (ऑनर्स)-2022 विश्व विद्यालय पदक
    34 खुशबूचौधरी एमएससी -जूलॉजी -2022 विश्व विद्यालय पदक
    35 फ़िज़ापरवीन एमएससी -वनस्पति विज्ञान -2022 विश्व विद्यालय पदक
    36 कृति सिंह एम.एससी.- मानव विज्ञान -2022 विश्व विद्यालय पदक
    37 मुस्कानचौरसिया एमए- मानव विज्ञान -2022 विश्व विद्यालय पदक
    38 भूमिका भट्ट बी.एससी. (ऑनर्स)-वनस्पति विज्ञान -2022 विश्व विद्यालय पदक
    39 वेदबालावैष्णव बी.एससी. (ऑनर्स)-जूलॉजी 2022 विश्व विद्यालय पदक
    40 जावेद इक़बाल बीए(ऑनर्स)-मानवविज्ञान -2022 विश्व विद्यालय पदक
    41 रौशनी तिवारी बी.एससी.(ऑनर्स)-मानव विज्ञान -2022 विश्व विद्यालय पदक
    42 निखिल दीवान बी.टेक.-आईपीई -2022 विश्व विद्यालय पदक
    43 निखिल गोभिल बी.टेक.-सीएसई -2022 विश्व विद्यालय पदक
    44 नंदनीरंजन बी.टेक-ईसीई -2022 विश्व विद्यालय पदक
    45 हर्ष रंगलानी बी.टेक.-आईटी -2022 विश्व विद्यालय पदक
    46 अभिषेक कुमार बी.टेक.-एम.ई -2022 विश्व विद्यालय पदक
    47 नितेशसाहू बी.टेक.- सिविल इंजीनियरिंग. -2022 विश्व विद्यालय पदक
    48 थम्मिनाकिरण बी.टेक.- केमिकल इंजीनियरिंग। -2022 विश्व विद्यालय पदक
    49 आशुतोष शर्मा एम.टेक.- मशीन डिजाइन -2022 विश्व विद्यालय पदक
    50 ध्रुतिसुन्दरबेहरा एम.टेक- केमिकल इंजीनियरिंग। -2022 विश्व विद्यालय पदक
    51 शिवानीबेहरा एम. फार्मा- फार्माकोलॉजी -2022 विश्व विद्यालय पदक
    52 बीजीवीएस जगन एम. फार्मा-फार्मास्यूटिकलकेम। -2022 विश्व विद्यालय पदक
    53 वागेशवर्मा एम. फार्मा- फार्मास्यूटिक्स -2022 विश्व विद्यालय पदक
    54 अल्तमश खान एम. फार्मा- फार्माकोग्नॉसी -2022 विश्व विद्यालय पदक
    55 कर्णिकावर्मा एम. एससी. वानिकी एवं पर्यावरण. अनुसूचित जाति। -2022 विश्व विद्यालय पदक
    56 अनुश्रीदेबनाथ बी फार्मा -2022 विश्व विद्यालय पदक
    57 चांदनी चंद्रा डी फार्मा -2022 विश्व विद्यालय पदक
    58 फाल्गुनी सरकार बी.एससी.-वानिकी -2022 विश्व विद्यालय पदक
    59 श्रेया गुप्ता बीए एलएलबी. -2022 विश्व विद्यालय पदक
    60 सजल कुमार गुप्ता बी.कॉम. एल.एल.बी. -2022 विश्व विद्यालय पदक
    61 पुनिता एमपीएड.-2022 विश्व विद्यालय पदक
    62 कृष्ण चन्द्र बी.पी.एड.-2022 विश्व विद्यालय पदक
    63 ऐश्वर्या आचार्य बी.एड.-2022 विश्व विद्यालय पदक
    64 शशिनायक बिस्तर। विशेष. एड.(एलडी) -2022 विश्व विद्यालय पदक
    65 मेहंदीकुमारी बिस्तर। स्प्ल.एड. (नमस्ते) -2022 विश्व विद्यालय पदक
    66 ऐश्वर्यामानिकपुरी एम.एड.-2022 विश्व विद्यालय पदक
    67 प्रियंकाभक्त एम.एससी.-बायोटेक्नोलॉजी -2022 विश्व विद्यालय पदक
    68 स्वाति साव एम.एससी.-ग्रामीण प्रौद्योगिकी. -2022 विश्व विद्यालय पदक
    69 पहेली शर्मा एम.एससी.-फोरेंसिक एससी. -2022 विश्व विद्यालय पदक
    70 सुचित्रा जेना बी.एससी.(ऑनर्स)-बायोटेक्नोलॉजी -2022 विश्व विद्यालय पदक
    71 उत्कर्षदुबे बीएससी (ऑनर्स)-रूरल टेक। -2022 विश्व विद्यालय पदक
    72 भूमिकाचंद्राकर बी.एससी.(ऑनर्स)-फॉरेंसिक एससी. विश्व विद्यालय पदक
    73 आयुष्यःताम्रकार बीए एलएलबी-2022 चांसलर स्वर्ण पदक

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  • स्कूल शिक्षा विभाग में मस्जिदों के छात्रों को लेकर उच्च न्यायालय में प्रवेश..

    रायपुर। स्कूल शिक्षा विभाग में स्नातक की उपाधि प्राप्त राजकीय स्नातक सेवा के विद्यार्थियों को मूल संवर्ग में लौटाना शामिल है। दोनों ही सामान जीडी के ऑर्डर का इंतजार कर रहे हैं।

    राज्य सरकार ने शिक्षा विभाग में हो रही गदबदियों पर साढ़े तीन महीने पहले राप्रसे के दो एडीशनल विद्यार्थियों को इंजीलेशनल डिपार्टमेंट की शुरुआत की थी। 9 मई को जारी आदेश के अनुसार रिपब्लिक गुप्ता रेजिडेंट्स रजिस्ट्रार बलौदा मार्केटिंग और प्रणव सिंह राजपूत की नियुक्ति की गई। उन्होंने आरोप लगाते हुए ही पुलवामा कैडर के जेडी, डीडी और डीएओ पर विरोध शुरू कर दिया। इस पर विभाग के इन वैलेंट ने टेकम से सामूहिक ऑफर रद्द करने की मांग की थी।

    रायपुर के जेडी श्री कुमार, और सरगुजा के जेडी विश्वनाथ उपाध्याय ने उच्च न्यायालय में याचिका दायर की। इसी सप्ताह की शुरुआत में उच्च न्यायालय ने अन्यायपूर्ण तरीके से पार्टी कैडर के अभ्यर्थियों को गारंटी देने की बात कही। यहां यह उल्लेखनीय है कि दोनों जेडी, कुमार और उपाध्याय, हाल ही में कवर्ड शोकेस और पोस्टिंग घोटाले में भाग ले रहे हैं। ‍विजेता ‍अंजेलियन ने ‍सैप भी कर द‍िया है। जल्द ही नई पोस्टिंग होगी, ऐसा माना जा रहा है।

  • डॉनमदेव अभ्यारण्य को टाईगर रिजर्व के खिलाफ नहीं बनाया फैसला..

    बिलासपुर। डॉनमदेव वैष्णव जीव अभ्यारण्य को राज्य सचिवालय ने खारिज कर दिया है। पूर्व की भाजपा सरकार ने छत्तीसगढ़ में इस अभ्यारण्य को टाइगर रिजर्व को टक्कर दे दी थी मगर वर्तमान सरकार ने यह उल्टा निर्णय लिया।

    प्राचीन जीव बोर्ड की बैठक में बदला गया फैसला

    छत्तीसगढ़ के सिद्धांत भारतीय जनता पार्टी सरकार ने राज्य वैष्णव जीव मंडल की 23 मई 2017 को हुई नौवीं बैठक में कबीरधाम जिले के भोरमदेव दर्शन जीव अभयारण्‍य को टाइगर रिजर्व घोषित करने की पुरातनता दी थी। इसके बाद 14 नवंबर 2017 को हुई राज्य दर्शन महोत्सव बोर्ड की 10वीं बैठक में यह शपथ ली गई कि कवर्धा में स्थित भोरमदेव अभ्यारण्य को टाइगर रिजर्व घोषित किया जाए। बाद में कांग्रेस बोर्ड की सरकार बनी राज्य दार्शनिक जीव की 24 नवंबर 2019 को हुई बैठक में इसे टाइगर रिजर्व न घोषित करने का फैसला लिया गया।

    सिंघवी ने दी कोर्ट में चुनौती

    इधर उक्त फैसले को छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय में एक प्रवेश पत्र के माध्यम से आदरणीय जीव प्रेमी भोत सिंघवी ने चुनौती दी थी। सुनवाई के दौरान सरकार की ओर से न्यायालय को बताया गया कि भोरमदेव अभ्यारण्य में निवासरत मान्यता के विकास पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ेगा। सरकार की डिफॉल्ट्स से अंतिम मंजूरी कोर्ट ने दाखिल खारिज कर दी।

    सरकार की ओर से बताया गया कि प्रस्तावित टाइगर रिजर्व के लिए 39 को व्यवसाय करना चाहिए। वहां से निवासरत 17566 लोगों को एक साथ जोड़ा गया। वन विभाग ने बताया कि इस प्रक्रिया में लगभग 39 लाख करोड़ का वित्तीय भार उठाया जाएगा। बीजेपी सरकार ने जब इसे टाइगर रिजर्व के खिलाफ आंदोलन की घोषणा की थी तब कांग्रेस नेता मोहम्मद अकबर ने टाइगर रिजर्व के खिलाफ आंदोलन की घोषणा की थी। बाद में उनके वन मंत्री बन जाने से टाइगर रिजर्व निर्णय वापस ले लिया गया।

    ‘एनटीसीए ने दी सलाह नहीं की’

    छत्तीसगढ़ उच्च न्यायालय में इस मिट्टी के बर्तन (पीआईएल) का मकसद भोरमदेव अभयारण्य (बीडब्ल्यूएस) को बाघ अभयारण्य और चिल्फ़ी रेंज को मिट्टी के बर्तनों के रूप में नामित करना था।

    मुख्य न्यायाधीश राकेश सिन्हा और न्यायाधीश एनके चंद्रवंशी ने इस मामले में स्थानीय समुदायों से संबंधित प्रक्रियात्मक घटकों और प्रकाश व्यवस्था पर निर्णय लिया। अदालत ने इस बात पर जोर दिया कि राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकारी (एनटीसीए) ने डॉनमदेव पर्यटन अभयारण्य (बीडब्ल्यूएस) को टाइगर रिजर्व के रूप में घोषित करने के लिए केवल ‘उपाय’ का सुझाव दिया था और कोई दिशानिर्देश ‘सिफारिश’ जारी नहीं किया था। डिवीजन बेंच ने बताया कि एनटीसीए की सलाह से प्रक्रियागत कार्यों को पूरा करने पर सहमति दी गई थी, जिसमें इस मामले में पूरा नहीं किया गया था। इसी के आधार पर कोर्ट ने दाखिल खारिज कर दी।

    एनटीसीए की वकालत को चुनौती दी गई। डांगी ने तर्क दिया कि कोर और फ़्लोरिडा क्षेत्र को निर्धारित करने के लिए एक विशेषज्ञ समिति का गठन किया गया था और राज्य सरकार ने टाइगर रिज़र्व की स्थिति के लिए इसे ऑस्ट्रियाई सागर में दे दिया था।

    ‘एनटीसीए ने बीडब्ल्यूएस को टाइगर गैलरी का हिस्सा माना’

    नियमों के अनुसार राष्ट्रीय बाघ संरक्षण प्राधिकरण (एनटीसीए) यदि देश में किसी भी क्षेत्र को टाइगर रिजर्व की गारंटी देता है तो संबंधित राज्य सरकार इसे अपने लाभ के लिए ले सकती है। भोरमदेव पोटेशियम अभ्यास (बीडब्ल्यूएस) को टाइगर रिजर्व के रूप में स्थापित करने के लिए एनटीसीए ने सहमति व्यक्त की थी, मगर उन्होंने राज्य सरकार को जो पत्र लिखा था, उसमें स्टॉक की बजाय यह सुझाव दिया गया था कि गले की हड्डी मजबूत हो और वर्तमान सरकार ने हजारों लोगों को एकजुट करने और अन्य निर्देश दिए हैं। टाइगर रिजर्व का प्रस्ताव खारिज कर दिया गया।

    बता दें कि एनटीसीए ने भोरमदेव अभयारण्य (बीडब्ल्यूएस) को देश के सबसे बड़े टाइगर गार्डन (शेरों के आने-जाने का मार्ग) का अहम हिस्सा माना था। यह कान्हा किसली नेशनल पार्क प्रदर्शनी से शुरू हुआ। यहां से भोरमदेव अभ्यारण्य उत्पन्न हुआ यह मार्ग अचानकमार (एटीआर) और फिर गुरु घासीदास रिजर्व से संजय डुबरी नेशनल पार्क और वापस बांदव गढ़ नेशनल पार्क में फिर से लुप्त हो जाता है। अन्य गुरु घासीदास रिजर्व से एक टाइगर गैलरी झारखंड के पलामू रिजर्व तक भी बना है। इसके अलावा एक अन्य टाइगर रिजर्व महाराष्ट्र के चंद्रपुर जिले के ताड़ोबा अंधेरी टाइगर रिजर्व से शुरू होता है। बताया जाता है कि यहां बाघ बड़ी संख्या में हैं। यहां से एक मार्ग नवेगांव नाधिरा टाइगर रिजर्व, भंडारा होता हुआ यह वापस भोरमदेव अभयारण्य में मिलता है। यह भी लिखा है कि इंद्रावती टाइगर रिजर्व भी भोरमदेव अभ्यारण्य से डूबा हुआ है।

    कान्हा किसली का बॉलर जोन BWS है

    सबसे खास मध्य प्रदेश में भोरमदेव पवित्र अभयारण्य (बीडब्ल्यूएस) कान्हा किसली टाइगर रिजर्व के बैरल जोन के रूप में जाना जाता था और इस क्षेत्र में बमुश्किल 500 लोगों की ही बसाहट थी। तब यहां किसी के पहचान के खिलाफ कार्रवाई हुई थी और यहां टाइगर रिजर्व के रहने को भी बसने पर पूरी तरह से रोका गया था। नये छत्तीसगढ़ राज्य के उदय के बाद भोरमदेव का केवल अभ्यारण्य बन कर रह गया।

    नये राज्य में व्यवस्था में वृद्धि हुई

    जानकार बताते हैं कि नए छत्तीसगढ़ राज्य में कान्हा किसली से अलग भोर में देवलोक निवास (बीडब्ल्यूएस) में व्यवस्था काफी बढ़ गई है। राज्य बनने के दौरान इस जंगल में जहां हजारों से भी कम लोग रहते थे, दशक के दशक में उनकी संख्या 17 हजार से ज्यादा हो गई। स्वाभाविक बात यह है कि छत्तीसगढ़ राज्य में वन्यजीवों का अच्छी तरह से पालन-पोषण नहीं किया गया और जंगल की जमीनों पर बेथाशा का व्यवसाय हो गया।

    सोमनाथ भोरमदेव सोमनाथ अभ्यारण्य (बीडब्ल्यूएस) को टाइगर रिजर्व बनाने के लिए एनटीसीए के एकमात्र ‘सुझाव’ और अरसे से जंगल में हो चुके हजारों लोगों की बसाहट को देखते हुए हाई कोर्ट ने अंतिम संस्कार की अर्जी दी है। इस मामले में किसी ने कहा है कि टाइगर रिज़र्व में बसाहट का बजट नहीं है। उन्होंने बताया कि आश्चर्यजनकमार टाइगर रिजर्व क्षेत्र में कुल 25 गांव अवस्थित थे और अब तक यहां से 6 जंगलों को ही खाली किया जा सका है। ऐसा ही भोरमदेव अभ्यारण्य में भी किया जा सकता था।