महाभारत अनुसंधान: पश्चिमी देशों में हुई यह पुस्तक महाभारत की लोकप्रिय पुस्तकें और भारतीयों द्वारा लंबे समय से सुनी जा रही धारणा का वैज्ञानिक समर्थन करता है। महाभारत का वाकया तो आप सभी ने सुना होगा, जिसमें अर्जुन जब पत्नी सुभद्रा को चक्रव्यूह भेदन का उपाय बता रहे थे तो उन्हें कोख में मौजूद अजन्मने पुत्र अभिमन्यु ने भी सुना था।
फ्रांस और फ्रांस के संयुक्त अध्ययन में इटली सामने आया
सवाल ये है कि अभिमन्यु ने कोख में रहते हुए आखिकार चक्रव्यूह में प्रवेश का तरीका कैसे जान लिया था. इसका जवाब अब इटली और फ्रांस के रिसर्च के संयुक्त अध्ययन में सामने आया है। इस अध्ययन के अनुसार जन्म से पहले के कुछ ऐतिहासिक कोख में भ्रूणहत्या करते हुए अपनी मां की धमनियों के माध्यम से सक्रिय रूप से अध्ययन और प्रशिक्षण दिया जाता है। शोध के अनुसार जो गर्भवती महिलाएं अपनी बोली में नियमित रूप से बातचीत में शामिल रहती हैं, उनकी भाषा में भी कौशल बच्चे हो जाते हैं।
जांच में क्या सामने आया?
और फ्रांस के इटली के शोधकर्ताओं के अनुसार, जो बच्चा पहले अपने मां-बाप के माध्यम से पैदा हुआ, उसके जन्म के बाद किसी भी भाषा में जल्दी संक्रमण हो जाता है। इससे स्पष्ट होता है कि कोख में रहते हुए भी वे बातें पढ़ते और सिखाते हैं। अध्ययन में यह भी सामने आया कि एक से पांच दिन की आयु के अभिलेखों पर प्रारंभिक प्रतिक्रियाएँ दी गई हैं, जो वे गर्भ में रहते हुए सुने थे।
गर्भावस्था में बातें आरोप हैं भ्रूण!
सहयोगी वेबसाइट WION के मुताबिक यह स्टडी रिपोर्ट साइंस एडवांसेज नाम के जर्नल में प्रकाशित हुई थी. अध्ययन में यह भी पता चला है कि गर्भावस्था में अपनी मातृभाषा सुनने से लेकर बच्चे बड़े होकर एक ही भाषा में कोई भी काम सीखने में अधिक पारंगत हो जाते हैं। ऐसा सिद्ध होता है कि कोख में भ्रूण बनने के बाद मां के तंत्रिका तंत्र के माध्यम से जो बाहर की बातें सुनी और समझी जा रही हैं, उनका जो जन्म लेने के बाद उनके काम में भी दिखता है।
33 फ्रेंच बच्चों पर हुई स्टडी
अध्ययन करने के लिए शोधकर्ता ने 33 नवजात शिशुओं को शामिल किया। उनकी माताएं मूल रूप से फ्रेंच भाषा में थीं और गर्भावस्था के अंतिम तिमाही में फ्रेंच भाषा में ही बातचीत करती थीं। बच्चों के जन्म के बाद उनके मस्तिष्क की कहानी के लिए डॉक्यूमेंट्री के सिर पर दस सेंसर वाले इलेक्ट्रोएनसेफलोग्राम (ईजी) कैप लगाए गए। इसके रिजल्ट से पता चला कि जब बच्चा अपनी मूल भाषा में रिपोर्ट करता है तो वे जल्दी रिएक्ट कर देते हैं। इसकी वजह गर्भावस्था के दौरान उनकी ओर से लिखी गई भाषा थी।